Rajasthan Board RBSE Solutions for Class 6 Sanskrit Ruchira Chapter 12 दशमः त्वम असि Textbook Exercise Questions and Answers.
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प्रश्न 1.
उच्चारणं कुरुत(उच्चारण कीजिए-)
उत्तरम् :
[नोट-संख्यावाची शब्दों के अर्थ एवं रूप को समझते हुए शुद्ध उच्चारण कीजिए। एक से लेकर चार तक के संख्यावाची शब्दों के रूप तीनों लिंगों में भिन्न-भिन्न बनते हैं, किन्तु पाँच से दस के रूप तीनों लिंगों में समान होते हैं।]
प्रश्न 2.
प्रश्नानाम् उत्तराणि लिखत - (प्रश्नों के उत्तर लिखिए-)
(क) कति बालकाः स्नानाय अगच्छन्?
उत्तरम् :
दश बालकाः स्नानाय अगच्छन्।
(ख) ते स्नानाय कुत्र अगच्छन्?
उत्तरम् :
ते स्नानाय नदीम् अगच्छन्।
(ग) ते कं निश्चयम् अकुर्वन्?
उत्तरम् :
दशमः नद्यां मग्नः इति ते निश्चयम् अकुर्वन्।
(घ) मार्गे कः आगच्छत्?
उत्तरम् :
मार्गे पथिकः आगच्छत्।
(ङ) पथिकः किम् अवदत्?
उत्तरम् :
पथिकः अवदत्-दशमः त्वम् असि।
प्रश्न 3.
शुद्धकथनानां समक्षम् (✓) इति अशुद्धकथनानां समक्षं (✗) कुरुत -
(शुद्ध कथनों के सामने (✓) चिह्न तथा अशद्ध कथनों के सामने (✗) चिह्न लगायें-)
(क) दशबालकाः स्नानाय अगच्छन्। [ ]
(ख) सर्वे वाटिकायाम् अभ्रमन्। [ ]
(ग) ते वस्तुतः नव बालकाः एव आसन्। [ ]
(घ) बालकाः स्वं न अगणयत्। [ ]
(ङ) एकः बालकः नद्यां मग्नः। [ ]
(च) ते सुखिता: तूष्णीम् अतिष्ठन्। [ ]
(छ) कोऽपि पथिकः न आगच्छत्। [ ]
(ज) नायकः अवदत् - दशमः त्वम् असि इति। [ ]
(झ) ते सर्वे प्रहृष्टाः भूत्वा च गृहम् अगच्छन्। [ ]
उत्तरम् :
(क) दशबालकाः स्नानाय अगच्छन्। [✓]
(ख) सर्वे वाटिकायाम् अभ्रमन्। [✗]
(ग) ते वस्तुतः नव बालकाः एव आसन्। [✗]
(घ) बालकाः स्वं न अगणयत्। [✓]
(ङ) एकः बालकः नद्यां मग्नः। [✗]
(च) ते सुखिता: तूष्णीम् अतिष्ठन्। [✗]
(छ) कोऽपि पथिकः न आगच्छत्। [✗]
(ज) नायकः अवदत् - दशमः त्वम् असि इति। [✗]
(झ) ते सर्वे प्रहृष्टाः भूत्वा च गृहम् अगच्छन्। [✓]
प्रश्न 4.
मञ्जूषातः शब्दान् चित्वा रिक्तस्थानानि पूरयत -
(मंजूषा से शब्दों को चुनकर रिक्त-स्थानों की पूति कीजिए-)
[गणयित्वा श्रुत्वा दृष्ट्वा कृत्वा गृहीत्वा तीा]
उत्तरम् :
(क) ते बालकाः तीर्खा नद्याः उत्तीर्णाः।
(ख) पथिकः बालकान् दु:खितान् दृष्ट्वा अपृच्छत्।
(ग) पुस्तकानि गृहीत्वा विद्यालयं गच्छ।
(घ) पथिकस्य वचनं श्रुत्वा सर्वे प्रमुदिताः गृहम् अगच्छन्।
(ङ) पथिक: बालकान् गणयित्वा अकथयत्-दशमः त्वम् असि।
(च) मोहनः कार्यं कृत्वा गृहं गच्छति।
प्रश्न 5.
चित्राणि दृष्ट्वा संख्यां लिखत -
(चित्रों को देखकर संख्या लिखिए-)
[नोट-पाठ्यपुस्तक में दिये गये चित्रों को देखें।]
उत्तरम् :
(क) अष्ट कन्दुकानि।
(ख) तिस्त्रः चटकाः।
(ग) एकं पुस्तकम्।
(घ) द्वौ मयूरौ।
(ङ) द्वे बालिके।
(च) षट् तालाः।
(छ) पञ्च कपोताः।
(ज) दश पत्राणि।
प्रश्न:
अधोलिखितप्रश्नानाम् उत्तराणि विकल्पेभ्यः चित्वा लिखत -
(i) कति बालकाः स्नानाय अगच्छन्?
(अ) नव
(ब) दश
(सं) सप्त
(द) एकादश
उत्तरम् :
(ब) दश
(ii) सर्वे बालकाः कम् उत्तीर्णा:?
(अ) सरोवरम्
(ब) ग्रामम्
(स) वनम्
(द) नदीम्
उत्तरम् :
(द) नदीम्
(iii) बालकः कम् न अगणयत्?
(अ) स्वम्।
(ब) नायकम्
(स) अपरं बालकं
(द) पथिकम्
उत्तरम् :
(अ) स्वम्।
(iv) कतमः बालकः नद्यां मग्नः?
(अ) पञ्चमः
(ब) सप्तमः
(स) दशमः
(द) नवमः
उत्तरम् :
(स) दशमः
(v) पथिकः कम् आदिश?
(अ) बालकम्
(ब) नायकम्
(स) मित्रम्
(द) सेवकम्
उत्तरम् :
(ब) नायकम्
(vi) नायकः कति बालकान् एव अगणयत्?
(अ) सप्त
(ब) अष्टौं
(स) दश
(द) नव
उत्तरम् :
(द) नव
(vii) .............. बालकान् गणय। रिक्तस्थानं पूरयत।
(अ) अहम्
(ब) सः
(स) ते
(द) त्वम्
उत्तरम् :
(द) त्वम्
(vii) पथिकः तत्र .........। रिक्तस्थानं पूरयत।
(अ) आगच्छत्
(ब) आगच्छन्
(स) आगच्छम्
(द) आगच्छताम्
उत्तरम् :
(अ) आगच्छत्
अतिलघूत्तरात्मकप्रश्नाः -
प्रश्न:
एकपदेन प्रश्नान् उत्तरत -
(क) बालकाः कुत्र चिरं स्नानम् अकुर्वन्?
(ख) बालकाः कथं नदी पारं गताः?
(ग) बालकः कम् न अगणयत्?
(घ) के दु:खिता तूष्णीम् अतिष्ठन्?
(ङ) नायक: कति बालकान् एव अगणयत्?
उत्तराणि :
(क) नदीजले
(ख) तीर्खा
(ग) स्वम्
(घ) बालकाः
(ङ) नव।
लघूत्तरात्मकप्रश्नाः -
प्रश्न:-
पूर्णवाक्येन प्रश्नान् उत्तरत -
(क) एकदा दश बालकाः किमर्थं नदीम् अगच्छन्?
उत्तरम् :
एकदा दश बालकाः स्नानाय नदीम् अगच्छन्।
(ख) अपरः बालकः पुनः कान् एव अगणयत्?
उत्तरम् :
अपर: बालकः अन्यान् बालकान् एव अगणयत्।
(ग) कः बालकान् दुःखितान् दृष्ट्वा अपृच्छत्?
उत्तरम् :
पथिक: बालकान् दुःखितान् दृष्ट्वा अपृच्छत्।
(घ) पथिकः कान् अगणयत्?
उत्तरम् :
पथिक: बालकान् अगणयत्।
(ङ) प्रहृष्टाः भूत्वा बालकाः कत्र अगच्छन?
उत्तरम् :
प्रहृष्टाः भूत्वा बालकाः गहम् अगच्छन्।
निबन्धात्मकप्रश्नाः -
प्रश्न:-
'दशमः त्वम् असि' इति कथायाः सारं हिन्दीभाषायां लिखत।
उत्तर :
कथा-सार - प्रस्तुत कथा के अनुसार एक बार दस बालक स्नान करने के लिए नदी पर गए। स्नान करने के बाद एक बालक गणना करता है, किन्तु स्वयं को गिनना भूल जाता है। अतः नौ बालक गिनता है। इसी प्रकार दूसरा बालक भी सभी बालकों को गिनता है किन्तु स्वयं को भूल जाता है।
सभी बालक यह निश्चय करके कि दसवाँ बालक नदी में डूब गया है, अत्यन्त दुःखी होते हैं। तभी वहाँ पर एक यात्री आता है। उसने उनकी समस्या को सुनकर बालकों को गिना तो पूरे दस बालक थे। यात्री ने बालकों के नायक से पुनः गिनने के लिए कहा। उसने जब स्वयं को भूलकर नौ बालक ही गिने, तब यात्री ने उससे कहा कि 'दसवें तुम हो।' यह सुनकर सभी बालक प्रसन्न हो गए और अपने घर चले गए।
पाठ-परिचय - प्रस्तुत पाठ में बालकों की एक रोचक कथा के माध्यम से एक से दस तक की संस्कृत में संख्याओं का ज्ञान कराया गया है तथा बालकों के स्वभाव का सुन्दर चित्रण किया गया है।
पाठ के कठिन-शब्दार्थ :
पाठ का हिन्दी-अनुवाद -
1. एकदा दश बालकाः स्नानाय .................................................... बालकाः नदीम्-उत्तीर्णाः?
हिन्दी-अनुवाद - एक बार दस बालक स्नान करने के लिए नदी पर गए। उन्होंने नदी के जल में बहुत समय तक स्नान किया। उसके बाद वे तैरकर नदी के पार गए। तब उनके नायक ने पूछा-क्या सभी बालकों ने नदी को पार कर लिया है?
2. तदा कश्चित् बालकः ...................................... दुःखिताः तूष्णीम् अतिष्ठन्।
हिन्दी-अनुवाद - तब कोई बालक गिनने लगा-एक, दो, तीन, चार, पाँच, छह, सात, आठ, नौ। उसने स्वयं को (अपने आपको) नहीं गिना। इसलिए वह बोला-नौ ही हैं। दसवाँ नहीं है। दूसरे बालक ने भी पुनः अन्य बालकों को गिन लिया। तब भी नौ ही थे। इसलिए उन्होंने निश्चय किया कि दसवाँ (बालक) नदी में डूब गया। वे दु:खी होकर चुपचाप बैठ गए।
3. तदा कश्चित् पथिकः ....................................... नद्यां मग्नः' इति।
हिन्दी-अनुवाद - तभी कोई राहगीर (यात्री) वहाँ आया। उसने उन बालकों को दुःखी देखकर पूछा-हे बालकों! तुम्हारे दु:ख का क्या कारण है? बालकों के नायक ने कहा-"हम दस बालक स्नान करने (नहाने) के लिए आए थे। अब नौ ही हैं। एक नदी में डूब गया।"
4. पथिकः तान् अगणयत् ................................... सर्वे गृहम् अगच्छन्।
हिन्दी अनुवाद - राहगीर (यात्री) ने उनको (बालकों को) गिना। वहाँ दस बालक ही थे। उसने नायक को आदेश दिया-तुम बालकों को गिनो। उसने नौ बालकों को ही गिना। तब यात्री ने कहा-"दसवें (बालक) तुम हो।" यह सुनकर प्रसन्न होकर सभी (बालक) घर को चले गए।