Rajasthan Board RBSE Class 10 Social Science Important Questions History Chapter 1 यूरोप में राष्ट्रवाद का उदय Important Questions and Answers.
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वस्तुनिष्ठ प्रश्न
प्रश्न 1.
'नेपोलियन की संहिता' का निर्माण हुआ था-
(अ) 1789 में
(ब) 1814 में
(स) 1804 में
(द) 1815 में।
उत्तर:
(स) 1804 में
प्रश्न 2.
'जॉलवेराइन' नामक शुल्क संघ की स्थापना कब हुई?
(अ) 1848 ई. में
(ब) 1815 ई. में
(स) 1870 ई. में
(द) 1834 ई. में।
उत्तर:
(द) 1834 ई. में।
प्रश्न 3.
वियना सम्मेलन आयोजित किया गया-
(अ) 1815 में
(ब) 1825 में
(स) 1804 में
(द) 1830 में।
उत्तर:
(अ) 1815 में
प्रश्न 4.
जर्मनी में राष्ट्र-राज्य के निर्माण की प्रक्रिया का जनक था-
(अ) विलियम चतुर्थ
(ब) विलियम प्रथम
(स) आटोवॉन बिस्मार्क
(द) विलियम द्वितीय।
उत्तर:
(स) आटोवॉन बिस्मार्क
प्रश्न 5.
कावूर कौन था?
(अ) आस्ट्रिया का प्रधानमन्त्री
(ब) इंग्लैण्ड का विदेश मन्त्री
(स) सार्डीनिया-पीडमांट का प्रधानमन्त्री
(द) सार्डीनिया-पीडमांट का सम्राट्।
उत्तर:
(स) सार्डीनिया-पीडमांट का प्रधानमन्त्री
प्रश्न 6.
यूरोप में राष्ट्रवाद की प्रथम अभिव्यक्ति कौनसी घटना में दिखाई दी?
(अ) फ्रांसीसी क्रान्ति में
(ब) यूनान के स्वतन्त्रता संग्राम में
(स) इटली के एकीकरण में
(द) बाल्कन विद्रोह में
उत्तर:
(अ) फ्रांसीसी क्रान्ति में
प्रश्न 7.
हंगरी में आधे लोग कौनसी भाषा बोलते थे?
(अ) पोलिश भाषा
(ब) मैग्यार भाषा
(स) इतालवी भाषा
(द) इंग्लिश भाषा
उत्तर:
(ब) मैग्यार भाषा
प्रश्न 8.
'यंग इटली' की स्थापना किसने की थी?
(अ) बिस्मार्क
(ब) कावूर
(स) गैरीबाल्डी
(द) ज्युसेपी मेत्सिनी
उत्तर:
(द) ज्युसेपी मेत्सिनी
प्रश्न 9.
'जब फ्रांस छींकता है तो बाकी यूरोप को सर्दी-जुकाम हो जाता है।' यह टिप्पणी किसने की थी?
(अ) अर्स्ट रेनन
(ब) नेपोलियन
(स) मैटरनिख
(द) लॉर्ड बायरन
उत्तर:
(स) मैटरनिख
प्रश्न 10.
पेपल राज्य इटली में कब सम्मिलित हुए?
(अ) 1858
(ब) 1860
(स) 1867
(द) 1870
उत्तर:
(द) 1870
रिक्त स्थानों की पूर्ति कीजिए-
1. सॉरयू के .......... में दुनिया के लोग अलग राष्ट्रों के समूह में बंटे हुए है।
2. वियना सम्मेलन की मेजबानी आस्ट्रिया के चांसलर .......... ने की थी।
3. .............. में यूनान को एक स्वतन्त्र राष्ट्र की मान्यता मिली।
4. .......... के एकीकरण में बिस्मार्क की प्रमुख भूमिका थी।
5. यूनाइटेड किंग्डम ऑफ ग्रेट ब्रिटेन का गठन सन् ......... में हुआ।
उत्तर:
1. कल्पनादर्श (युटोपिया)
2. ड्यूक मैटरनिख
3. सन् 1832
4. जर्मनी
5. 1707
अतिलघूत्तरात्मक प्रश्न
प्रश्न 1.
जॉलवेराइन संघ की स्थापना कब की गई?
उत्तर:
1834 में।
प्रश्न 2.
वियना सम्मेलन कब आयोजित किया गया?
उत्तर:
1815 में।
प्रश्न 3.
'कार्बोनारी' क्या थी?
उत्तर:
'कार्बोनारी' इटली के क्रान्तिकारियों का एक गुप्त संगठन था।
प्रश्न 4.
किस सन्धि ने यूनान को एक स्वतन्त्र राष्ट्र की मान्यता प्रदान की?
उत्तर:
1832 की कुस्तुन्तुनिया की सन्धि ने।
प्रश्न 5.
किसके नेतृत्व में तथा कब नये जर्मन साम्राज्य की घोषणा की गई?
उत्तर:
प्रश्न 6.
'यंग इटली' की स्थापना किसने की और कब की?
उत्तर:
प्रश्न 7.
मारीआन कौन थी?
उत्तर:
फ्रांस में मारीआन को राष्ट्र के नारी रूपक के रूप में चित्रित किया गया था।
प्रश्न 8.
किसने और कब 'एक्सपिडिशन ऑफ द थाउजेंड' (हजार लोगों का अभियान) का नेतृत्व किया?
उत्तर:
प्रश्न 9.
'निरंकुशवाद' का अर्थ स्पष्ट कीजिए।
उत्तर:
'निरंकुशवाद' का अर्थ है ऐसी सरकार या शासन व्यवस्था जिसकी सत्ता पर किसी प्रकार का कोई अंकुश नहीं होता। निरंकुश सरकार अत्यन्त केन्द्रीकृत तथा सैन्य बल पर आधारित होती है।
प्रश्न 10.
कल्पनादर्श (युटोपिया) से क्या तात्पर्य है?
अथवा
कल्पनादर्श (युटोपिया) क्या है?
उत्तर:
कल्पनादर्श (यूटोपिया) एक ऐसे समाज की कल्पना है जो इतना आदर्श है कि उसका साकार होना लगभग असंभव है।
प्रश्न 11.
'जनमत संग्रह' का अर्थ स्पष्ट कीजिए।
उत्तर:
'जनमत संग्रह' में प्रत्यक्ष मतदान के माध्यम से एक क्षेत्र के सभी लोगों से किसी प्रस्ताव को स्वीकार अथवा अस्वीकार करने के लिए पूछा जाता है।
प्रश्न 12.
जब फ्रांसं छींकता है तो बाकी यूरोप को सर्दी-जुकाम हो जाता है। यह शब्द किसने कहे थे?
उत्तर:
मैटरनिख ने।
प्रश्न 13.
1804 की नागरिक संहिता (नेपोलियन की संहिता) की दो मुख्य विशेषताएँ बताइए।
उत्तर:
प्रश्न 14.
'जॉलवेराइन' नामक शुल्क संघ से आप क्या समझते हैं?
उत्तर:
1834 में प्रशा की पहल पर 'जॉलवेराइन' नामक एक शुल्क संघ स्थापित किया गया जिसने विभिन्न जर्मन राज्यों के बीच शुल्क अवरोधों को समाप्त कर दिया था।
प्रश्न 15.
'उदारवाद' से क्या अभिप्राय है?
उत्तर:
'उदारवाद' शब्द लातिन भाषा के मूल 'Liber' पर आधारित है जिसका अर्थ है- आजाद अर्थात् व्यक्ति के लिए स्वतन्त्रता और कानून के समक्ष सबकी बराबरी।
प्रश्न 16.
18वीं शताब्दी में रूमानीवाद किस प्रकार की राष्ट्रीय भावना का विकास करना चाहता था? स्पष्ट कीजिए।
उत्तर:
18वीं सदी में रूमानी कलाकारों और कवियों ने भावनाओं, अन्तर्दृष्टि और रहस्यवादी भावनाओं पर जोर देकर राष्ट्रीय भावना का विकास करना चाहा।
प्रश्न 17.
जर्मनी के एकीकरण का कर्णधार कौन था?
उत्तर:
जर्मनी के एकीकरण का कर्णधार प्रशा का मुख्यमंत्री ऑटोवॉन बिस्मार्क था।
प्रश्न 18.
जर्मनी के एकीकरण के पश्चात् जर्मनी का सम्राट किसे घोषित किया गया?
उत्तर:
प्रशा के राजा विलियम प्रथम को।
प्रश्न 19.
जर्मन पंचांग के मुख पृष्ठ को कब और किसने बनाया?
उत्तर:
जर्मन पंचांग के मुख पृष्ठ को 1798 ई. में पत्रकार ऐंड्रियास रेबमान ने डिजायन किया था।
प्रश्न 20.
वियना सम्मेलन कब आयोजित किया गया? इसकी मेजबानी किसने की थी?
उत्तर:
प्रश्न 21.
मेत्सिनी ने किन दो गुप्त संगठनों की स्थापना की थी और कहाँ की थी?
उत्तर:
मेत्सिनी ने मार्सेई में 'यंग इटली' की तथा बर्न में 'यंग यूरोप' की स्थापना की थी।
प्रश्न 22.
यूनान को किस सन्धि के द्वारा स्वतन्त्र राष्ट्र की मान्यता मिली और कब?
उत्तर:
1832 में कुस्तुन्तुनिया की सन्धि के द्वारा यूनान को स्वतन्त्र राष्ट्र की मान्यता प्राप्त हुई।
प्रश्न 23.
नारीवाद से क्या तात्पर्य है?
उत्तर:
स्त्री-पुरुष की सामाजिक, आर्थिक और राजनीतिक समानता की सोच के आधार पर महिलाओं के अधिकारों और हितों का बोध ही नारीवाद है।
प्रश्न 24.
बिस्मार्क ने सैन्य शक्ति के बल पर किन तीन देशों को युद्धों में पराजित कर जर्मनी का एकीकरण पूरा किया?
उत्तर:
बिस्मार्क ने सात वर्ष की अवधि में सैन्य शक्ति के बल पर डेनमार्क, आस्ट्रिया तथा फ्रांस को पराजित कर जर्मनी के एकीकरण की प्रक्रिया पूरी की।
प्रश्न 25.
'नृजातीय' का अर्थ स्पष्ट कीजिए।
उत्तर:
'नृजातीय' से अभिप्राय है-एक साझा नस्ली, जनजातीय या सांस्कृतिक उद्गम अथवा पृष्ठभूमि जिसे कोई समुदाय अपनी पहचान मानता है।
प्रश्न 26.
इटली के एकीकरण में योगदान देने वाले किन्हीं चार व्यक्तियों के नाम बताइए।
उत्तर:
प्रश्न 27.
कावूर ने इटली के एकीकरण में क्या योगदान दिया?
उत्तर:
कावूर ने एक कूटनीतिक संधि द्वारा फ्रांस की सैनिक सहायता प्राप्त कर 1859 में आस्ट्रिया की सेनाओं को पराजित कर दिया।
प्रश्न 28.
फ्रांस तथा जर्मनी में किन नारियों को राष्ट्र के रूपक के रूप में चित्रित किया गया?
उत्तर:
फ्रांस में मारीआन को तथा जर्मनी में जर्मेनिया को राष्ट्र के रूपक के रूप में चित्रित किया गया।
प्रश्न 29.
'यंग इटली' की स्थापना किसने की थी?
उत्तर:
'यंग इटली' की स्थापना ज्युसेपे मेत्सिनी ने की थी।
प्रश्न 30.
गैरीबाल्डी ने इटली के एकीकरण में क्या योगदान दिया?
उत्तर:
1860 में गैरीबाल्डी ने सिसली तथा नेपल्स पर अधिकार करने के बाद जनमत संग्रह के आधार पर इन्हें सार्जीनिया-पीडमांट में शामिल कर लिया।
प्रश्न 31.
बिस्मार्क कौन था?
उत्तर:
बिस्मार्क प्रशा का चांसलर था। उसने डेनमार्क, आस्ट्रिया तथा फ्रांस को पराजित कर जर्मनी का एकीकरण पूरा किया।
प्रश्न 32.
सिलेसिया में बुनकरों ने कब विद्रोह किया और क्यों किया?
उत्तर:
सिलेसिया में 1845 में बुनकरों ने ठेकेदारों के विरुद्ध विद्रोह कर दिया क्योंकि वे उनके निर्मित कपड़े का बहुत कम दाम देते थे।
प्रश्न 33.
जर्मनी के एकीकरण की प्रक्रियाओं में 'जॉलवेराइन' ने क्या योगदान दिया?
उत्तर:
'जॉलवेराइन' ने जर्मन लोगों को आर्थिक रूप में एक राष्ट्र के रूप में बाँध दिया।
प्रश्न 34.
वियना सम्मेलन में भाग लेने वाले चार प्रमुख देशों के नाम लिखिए जिनके प्रतिनिधि सम्मेलन में सम्मिलित हुए थे।
उत्तर:
वियना सम्मेलन में जिन चार प्रमुख देशों के प्रतिनिधि सम्मिलित हुए थे, वे थे-(1) इंग्लैण्ड (2) रूस (3) प्रशा (4) आस्ट्रिया।
प्रश्न 35.
वियना सम्मेलन की अध्यक्षता किसने की थी?
उत्तर:
वियना सम्मेलन की अध्यक्षता आस्ट्रिया के चांसलर ड्यूक मैटरनिख ने की थी।
प्रश्न 36.
वह कौनसी घटना थी, जिसने सम्पूर्ण यूरोप के शिक्षित अभिजात वर्ग में राष्ट्रीय भावनाओं का संचार किया?
उत्तर:
यूनान का स्वतंत्रता-संग्राम।
प्रश्न 37.
यूनानियों का स्वतंत्रता के लिए संघर्ष कब शुरू हुआ था?
उत्तर:
यूनानियों का स्वतंत्रता के लिए संघर्ष 1821 ई. में शुरू हुआ था।
प्रश्न 38.
योहान गॉट फ्रीड कौन था?
उत्तर:
योहान गॉट फ्रीड एक जर्मन दार्शनिक था। उसका कहना था कि सच्ची जर्मनी संस्कृति उसके आम लोगों में निहित थी।
प्रश्न 39.
इटली अपने एकीकरण से पूर्व कितने राज्यों में विभाजित था?
उत्तर:
इटली अपने एकीकरण से पूर्व सात राज्यों में विभाजित था।
प्रश्न 40.
इटली के किस राज्य में एक इतालवी राजघराने का शासन स्थापित था?
उत्तर:
इटली के केवल एक राज्य सार्जीनिया-पीडमाण्ट में एक इतालवी राजघराने का शासन स्थापित था।
प्रश्न 41.
बाल्कन-क्षेत्र में किन चार बड़ी शक्तियों में गहरी प्रतिस्पर्धा थी?
उत्तर:
बाल्कन-क्षेत्र में रूस, जर्मनी, इंग्लैण्ड तथा आस्ट्रिया-हंगरी में गहरी प्रतिस्पर्धा थी।
प्रश्न 42.
यूनाइटेड किंग्डम ऑफ ग्रेट ब्रिटेन का गठन कब हुआ?
उत्तर:
सन् 1707 ई. में यूनाइटेड किंग्डम ऑफ ग्रेट ब्रिटेन का गठन हुआ।
प्रश्न 43.
महिलाओं की स्वतन्त्रता और समानता के लिए आवाज उठाने वाली महिला कौन थी?
उत्तर:
महिलाओं की स्वतन्त्रता और समानता के लिए आवाज उठाने वाली महिला लुइजे ऑटो-पीटर्स एक राजनीतिक कार्यकर्ता थी।
प्रश्न 44.
नारीवादी राजनीतिक संगठन की स्थापना किसने की थी?
उत्तर:
नारीवादी राजनीतिक संगठन की स्थापना लुइजे ऑटो-पीटर्स नामक एक राजनीतिक कार्यकर्ता ने की थी।
लघूत्तरात्मक प्रश्न (Type-I)
प्रश्न 1.
फ्रांस के क्रांतिकारियों ने फ्रांसीसी लोगों में सामूहिक पहचान की भावना उत्पन्न करने के लिए किन चार चीजों का चुनाव किया?
उत्तर:
फ्रांस के क्रांतिकारियों ने सामूहिक पहचान के लिए निम्न चार चीजों का चुनाव किया-
प्रश्न 2.
1789 की फ्रांसीसी क्रान्ति के परिणामस्वरूप हुए परिवर्तनों का उल्लेख कीजिए।
उत्तर:
प्रश्न 3.
फ्रांस में नेपोलियन द्वारा प्रारम्भ की गई नागरिक संहिता 1804 की किन्हीं चार विशेषताओं का वर्णन कीजिए।
उत्तर:
प्रश्न 4.
फ्रांस पर नेपोलियन के आधिपत्य के बाद फ्रांस के लोगों का प्रारम्भिक उत्साह किस प्रकार शीघ्र ही दुश्मनी में बदल गया? कोई चार कारण स्पष्ट कीजिए।
उत्तर:
प्रश्न 5.
फ्रांस ने यूरोप के अन्य देशों के लोगों को राष्ट्रों में गठित होने में किस प्रकार सहायता दी?
उत्तर:
जब फ्रांस की क्रान्ति का समाचार यूरोप के विभिन्न नगरों में पहुँचा, तो छात्र तथा शिक्षित मध्य-वर्गों के अन्य लोग जैकोबिन क्लबों की स्थापना करने लगे। उनकी गतिविधियों और अभियानों ने फ्रांसीसी सेनाओं के लिए मार्ग प्रशस्त किया। ये फ्रांसीसी सेनाएँ अपने साथ राष्ट्रवाद के विचार को विदेशों में ले गईं।
प्रश्न 6.
उदारवादी राष्ट्रवाद से क्या अभिप्राय है?
उत्तर:
उदारवादी राष्ट्रवाद का अभिप्राय था-व्यक्ति के लिए स्वतन्त्रता तथा कानून के सामने सबकी बराबरी। उदारवादी राष्ट्रवाद निरंकुश शासन का विरोधी तथा शासकों एवं पादरियों के विशेषाधिकारों की समाप्ति, संविधान तथा संसदीय प्रतिनिधि सरकार का समर्थक था। उदारवादी निजी सम्पत्ति के स्वामित्व की अनिवार्यता पर भी बल देते थे।
प्रश्न 7.
'जॉलवेराइन' पर एक संक्षिप्त टिप्पणी लिखिए।
उत्तर:
1834 ई. में प्रशा की पहल पर 'जॉलवेराइन' नामक एक शुल्क संघ की स्थापना हुई थी जिसमें अधिकांश जर्मन राज्य शामिल हो गए थे। इस संघ ने आर्थिक अवरोधों को समाप्त कर दिया और मुद्राओं की संख्या दो कर दी जो उससे पहले तीस से ऊपर थी। इससे आर्थिक दृष्टि से समस्त जर्मनी एक हो गया।
प्रश्न 8.
1815 के पश्चात् यूरोप में विकसित नवीन रूढ़िवाद के स्वरूप का विवेचन कीजिए।
उत्तर:
1815 के पश्चात् यूरोप में विकसित नवीन रूढ़िवाद इस बात पर बल देता था कि राज्य और समाज की स्थापित पारम्परिक संस्थाएँ, जैसे-राजतन्त्र, चर्च, सामाजिक ऊँच-नीच, सम्पत्ति और परिवार को बनाए रखना चाहिए। साथ ही उसकी मान्यता थी कि आधुनिकीकरण राजतन्त्र को मजबूत बनाने में सहायक था।
प्रश्न 9.
1815 में स्थापित रूढ़िवादी शासन व्यवस्थाओं की विशेषताओं की विवेचना कीजिए।
उत्तर:
प्रश्न 10.
ग्रिम बन्धु कौन थे? उन्होंने जर्मन राष्ट्रीय भावनाओं के विकास में क्या योगदान दिया?
उत्तर:
ग्रिम बन्धु जर्मनी के निवासी थे। वे उच्च कोटि के लेखक और उदारवादी राजनीतिज्ञ थे। उन्होंने अनेक पुरानी लोककथाएँ इकट्ठी कीं। उनका विश्वास था कि उन्होंने जो लोककथाएँ इकट्ठी की हैं, वे विशुद्ध और सच्ची जर्मन भावना की अभिव्यक्ति हैं। वे प्रेस की स्वतन्त्रता के समर्थक थे।
प्रश्न 11.
फ्रांस की 1848 की क्रान्ति का वर्णन कीजिए।
उत्तर:
1848 में खाद्यान्नों की कमी तथा व्यापक बेरोजगारी से दु:खी पेरिसवासी सड़कों पर निकल पड़े और फ्रांस के सम्राट को फ्रांस छोड़कर भागना पड़ा। राष्ट्रीय सभा ने फ्रांस में गणतन्त्र की घोषणा कर दी तथा 21 वर्ष से ऊपर सभी वयस्क पुरुषों को मताधिकार प्रदान किया और काम के अधिकार की गारण्टी दी।
प्रश्न 12.
1845 में सिलेसिया में हुए बुनकरों के विद्रोह का वर्णन कीजिए।
उत्तर:
4 जून, 1845 को दोपहर दो बजे बुनकरों की एक भीड़ ठेकेदार की कोठी पहुँची। उन्होंने अधिक मजदूरी की माँग की परन्तु उनके साथ दुर्व्यवहार किया गया। भीड़ ने घर में घुसकर खिड़कियाँ, फर्नीचर आदि को तोड़ दिया। सेना की सहायता से ठेकेदार अपने घर लौट । इस संघर्ष के दौरान 11 बुनकरों को गोली मार दी गई।
प्रश्न 13.
रूमानीवाद से आप क्या समझते हैं?
उत्तर:
रूमानीवाद एक ऐसा सांस्कृतिक आन्दोलन था, जो एक विशेष प्रकार की राष्ट्रीय भावना का विकास करना चाहता था। रूमानीवाद तर्क-वितर्क और विज्ञान के महिमामण्डन की आलोचना करता था और भावनाओं, अन्तर्दृष्टि और रहस्यवादी भावनाओं पर जोर देता था। इसने एक साझा सामूहिक विरासत और सांस्कृतिक अतीत को राष्ट्र का आधार बनाने पर बल दिया।
लघूत्तरात्मक प्रश्न (Type-II)
प्रश्न 1.
19वीं सदी के यूरोपीय उदारवादी राष्ट्रवाद से आपका क्या अभिप्राय है?
अथवा
यूरोप में उन्नीसवीं सदी के प्रारम्भ में विकसित होने वाली उदारवादी राष्ट्रवाद की अवधारणा की विवेचना कीजिए।
उत्तर:
उदारवादी राष्ट्रवाद की अवधारणा- 19वीं सदी के प्रारम्भ में यूरोप में उदारवादी राष्ट्रवाद के विचार विकसित हुए। उदारवाद शब्द लातिन भाषा के मूल Liber पर आधारित है जिसका अर्थ है-'स्वतन्त्रता'।
नये मध्यम वर्गों के लिए उदारवाद से अभिप्राय था-व्यक्ति के लिए स्वतन्त्रता और कानून के समक्ष सबकी समानता। राजनीतिक रूप से उदारवाद सहमति से बनी सरकार पर बल देता था। उदारवाद निरंकुश शासकों और पादरियों के विशेषाधिकारों की समाप्ति, संविधान तथा संसदीय प्रतिनिधि सरकार का समर्थक था। मताधिकार के सम्बन्ध में प्राय: बराबरी के पक्षधर नहीं थे। इस युग के उदारवादी निजी सम्पत्ति के स्वामित्व की अनिवार्यता पर बल देते थे। आर्थिक क्षेत्र में उदारवाद बाजारों की मुक्ति और वस्तुओं तथा पूँजी के आवागमन पर राज्य द्वारा लगाये गये नियंत्रणों को समाप्त करने का समर्थक था।
प्रश्न 2.
अर्स्ट रेनन कौन था? उसने राष्ट्र की व्याख्या किस प्रकार की?
उत्तर:
अर्स्ट रेनन एक फ्रांसीसी दार्शनिक था। उसने सन् 1882 में सॉबॉन (Sorbonne) विश्वविद्यालय में दिये एक व्याख्यान में राष्ट्र की व्याख्या निम्न प्रकार की-
प्रश्न 3.
'जॉलवेराइन' की स्थापना किन परिस्थितियों में हुई? इसका क्या महत्त्व था?
अथवा
जॉलवेराइन से आप क्या समझते हैं? इसके महत्त्व पर प्रकाश डालिए।
उत्तर:
जॉलवेराइन की स्थापना की परिस्थितियाँ-नेपोलियन बोनापार्ट ने 39 जर्मन राज्यों के एक महासंघ का निर्माण किया था। इनमें से प्रत्येक राज्य की अपनी मुद्रा और नाप-तौल प्रणाली थी। 1833 में हैम्बर्ग से न्यूरेम्बर्ग जाकर अपना माल बेचने वाले एक व्यापारी को ग्यारह सीमा शुल्क नाकों से गुजरना पड़ता था और हर बार लगभग 5% सीमा शुल्क देना पड़ता था। ये परिस्थितियाँ आर्थिक विनिमय और विकास में बाधक थीं।
1834 में प्रशा की पहल पर 'जॉलवेराइन' नामक एक शुल्क संघ की स्थापना हुई जिसमें अधिकांश जर्मन-राज्य सम्मिलित हो गए थे। इस संघ ने आर्थिक अवरोधों को समाप्त कर दिया और मुद्राओं की संख्या दो कर दी जो उससे पहले 30 से ऊपर थी। इससे आर्थिक दृष्टि से समस्त जर्मनी एक हो गया।
प्रश्न 4.
"1830 से 1848 तक का युग यूरोप के इतिहास में क्रान्तियों का युग था।"व्याख्या कीजिए।
उत्तर:
यूरोप के इतिहास में 1830 से 1848 तक का युग क्रान्तियों का युग कहलाता है क्योंकि इस अवधि में अनेक यूरोपीय देशों में निरंकुश, रूढ़िवादी और प्रतिक्रियावादी शासन के विरुद्ध क्रान्तियाँ हुईं।
सर्वप्रथम फ्रांस में जुलाई, 1830 में क्रान्ति हुई। फ्रांस के उदारवादी क्रान्तिकारियों ने वहाँ के निरंकुश और रूढ़िवादी शासन के विरुद्ध विद्रोह कर दिया। परिणामस्वरूप फ्रांस के निरंकुश शासक लुई फिलिप को गद्दी छोड़कर फ्रांस से भागना पड़ा। इसके बाद 1830 में ब्रुसेल्स में भी विद्रोह भड़क उठा जिसके परिणामस्वरूप ब्रुसेल्स यूनाइटेड किंगडम ऑफ द नीदरलैण्ड्स से अलग हो गया। इसी प्रकार इस अवधि में इटली और जर्मनी के राज्यों, आटोमन साम्राज्य के प्रान्तों तथा आयरलैण्ड और पोलैण्ड में भी रूढ़िवादी तथा प्रतिक्रियावादी शासन के विरुद्ध क्रान्तियाँ हुईं।
प्रश्न 5.
जर्मनी में 1848 में हुई उदारवादियों की क्रान्ति का वर्णन कीजिए।
उत्तर:
1848 में जर्मनी में हुई उदारवादियों की क्रान्ति-फ्रांस की 1848 की क्रान्ति से प्रभावित होकर 1848 में जर्मनी के उदारवादियों ने भी विद्रोह कर दिया । जर्मन क्षेत्रों में बड़ी संख्या में राजनीतिक संगठनों ने फ्रैंकफर्ट शहर में मिलकर एक सर्व-जर्मन नेशनल असेंबली के पक्ष में मतदान का निर्णय लिया। 18 मई, 1848 को फ्रेंकफर्ट में संसद का अधिवेशन शुरू हुआ। निर्वाचित प्रतिनिधियों ने जर्मन राष्ट्र के लिए एक संविधान का प्रारूप बनाया जिसमें राजा को संसद के अधीन रहना था। जब संसद के निर्वाचित सदस्यों ने प्रशा के सम्राट फ्रेडरिख विलियम चतुर्थ से ताज पहनने का अनुरोध किया, तो उसने उसे अस्वीकार कर दिया। इस पर कुलीन वर्ग और सेना का विरोध बढ़ गया और अन्त में सेना को बुलाकर एसेम्बली को भंग कर दिया गया।
प्रश्न 6.
एकीकरण से पूर्व इटली की राजनीतिक स्थिति का वर्णन कीजिए।
उत्तर:
एकीकरण से पूर्व इटली अनेक वंशानुगत राज्यों तथा बहुराष्ट्रीय हैब्सबर्ग साम्राज्य में बिखरा हुआ था। उन्नीसवीं शताब्दी के मध्य में इटली सात राज्यों में विभाजित था-
प्रश्न 7.
"निःसन्देह नेपोलियन बोनापार्ट ने फ्रांस में लोकतंत्र को समाप्त कर दिया परन्तु उसने कई क्रान्तिकारी प्रशासनिक सुधार भी लागू किये।" इस कथन का औचित्य सिद्ध कीजिए।
उत्तर:
फ्रांस में नेपोलियन बोनापार्ट ने निःसन्देह अनेक क्रान्तिकारी प्रशासनिक सुधार लागू किये। यथा-
प्रश्न 8.
1830 के दशक में यूरोपवासियों को किन कठिनाइयों का सामना करना पड़ा?
उत्तर:
प्रश्न 9.
19वीं शताब्दी में राजनीतिक और आर्थिक क्षेत्रों में व्याप्त उदारवादी स्वरूप की व्याख्या कीजिए।
उत्तर:
(अ) 19वीं शताब्दी में राजनीतिक क्षेत्र में उदारवादी स्वरूप-
(ब) आर्थिक क्षेत्रों में व्याप्त उदारवादी स्वरूप-
प्रश्न 10.
गेरीबाल्डी पर एक संक्षिप्त टिप्पणी लिखिए।
उत्तर:
गेरीबाल्डी इटली का एक महान स्वतन्त्रता सेनानी था। उसका जन्म 1807 में हुआ था। 1833 में वह 'यंग इटली' का सदस्य बन गया और 1834 में पीडमांट के गणतन्त्रीय विद्रोह में भाग लिया। विद्रोह कुचले जाने पर गैरीबाल्डी दक्षिणी अमेरिका भाग गया। 1854 में उसने इटली लौटकर विक्टर इमेनुएल द्वितीय का समर्थन किया। 1860 में उसने दक्षिण इटली की तरफ 'हजारों लोगों का अभियान' का नेतृत्व किया। इस अभियान में स्वयंसेवकों की संख्या 30,000 तक पहुंच गई। इन्हें 'रेड शर्ट्स' के नाम से जाना गया। 1860 में सिसली और नेपल्स पर गैरीबाल्डी का अधिकार हो गया और इन्हें सार्जीनिया-पीडमांट में मिला लिया गया। 1867 में गैरीबाल्डी ने रोम पर आक्रमण किया लेकिन पराजित हुए। अन्ततः 1870 में पेपल राज्य इटली में शामिल हुए।
प्रश्न 11.
वेइत की जर्मेनिया के निम्न गुणों के प्रतीकात्मक अर्थ बतलाइए-
टूटी हुई बेड़ियाँ, बाज-छाप कवच, बलूत पत्तियों का मुकुट, तलवार, तलवार पर लिपटी जैतून की डाली, काला, लाल और सुनहरा तिरंगा, उगते सूर्य की किरणें।
उत्तर:
गुण |
प्रतीकात्मक अर्थ |
1. टूटी हुई बेड़ियाँ |
1. आजादी मिलना |
2. बाज़-छाप कवच |
2. जर्मन साम्राज्य की प्रतीक-शक्ति |
3. बलूत पत्तियों का मुकुट |
3. बहादुरी |
4. तलवार |
4. मुकाबले की तैयारी |
5. तलवार पर लिपटी जैतून की डाली |
5. शान्ति की इच्छा |
6. काला, लाल और सुनहरा तिरंगा |
6. 1848 में उदारवादी-राष्ट्रवादियों का झण्डा, जिसे जर्मन राज्यों के ड्यूक्स ने प्रतिबन्धित घोषित कर दिया |
7. उगते सूर्य की किरणें |
7. एक नए युग का सूत्रपात। |
प्रश्न 12.
ब्रिटेन ने स्कॉटलैण्ड पर किस तरह अपना दबदबा कायम किया?
अथवा
स्कॉटलैण्ड को किस प्रकार यूनाइटेड किंगडम में शामिल किया गया? स्पष्ट कीजिए।
उत्तर:
इंग्लैण्ड और स्कॉटलैण्ड के बीच 'एक्ट ऑफ यूनियन' (1707) के द्वारा 'यूनाइटेड किंगडम ऑफ ग्रेट ब्रिटेन' का गठन किया गया। इस एक्ट के द्वारा व्यावहारिक रूप में इंग्लैण्ड स्कॉटलैंड पर अपना प्रभुत्व जमा पाया। ब्रितानी संसद में आंग्ल सदस्यों का दबदबा रहा। स्कॉटलैण्ड की अपनी संस्कृति तथा राजनीतिक संस्थानों को योजनाबद्ध तरीके से दबाया गया। स्कॉटिश हाइलैंड्स के निवासी कैथोलिक कुलों की आजादी का दमन किया गया। उन्हें उनकी गेलिक भाषा बोलने तथा अपनी राष्ट्रीय पोशाक पहनने की मनाही थी। उनमें से बहुत से लोगों को अपना वतन छोड़ने को भी मजबूर किया गया।
प्रश्न 13.
रूढ़िवादी मेत्सिनी के गुप्त संगठनों और विचारों से क्यों डरे हुए थे? कोई दो कारण बताइए।
उत्तर:
(1) मेत्सिनी इटली का एक क्रान्तिकारी था। वह राजतंत्र का घोर विरोधी था तथा प्रजातांत्रिक गणतन्त्रों का समर्थक था। चौबीस साल की आयु में लिगुरिया में क्रांति करने के लिए उसे बहिष्कृत कर दिया गया। तत्पश्चात् उसने दो और भूमिगत संगठनों की स्थापना की । पहला था मार्सेई में यंग इटली और दूसरा, बर्न में यंग यूरोप, जिसके सदस्य पोलैंड, फ्रांस, इटली और जर्मन राज्यों में समान विचार रखने वाले युवा थे। इनकी क्रांति के डर से रूढ़िवादी डरते थे।
(2) मेत्सिनी का विश्वास था कि ईश्वर की मर्जी के अनुसार राष्ट्र ही मनुष्यों की प्राकृतिक इकाई थी। वह इटली के छोटे राज्यों और प्रदेशों को जोड़ कर राष्ट्रों के व्यापक गठबंधन के अंदर एकीकृत गणतंत्र बनाना चाहता था। यह एकीकरण ही इटली की मुक्ति का आधार हो सकता था। उसके इस मॉडल की देखा-देखी जर्मनी, फ्रांस, स्विट्जरलैंड और पोलैंड में गुप्त संगठन कायम किए गए। इससे रूढ़िवादी डरते थे। मैटरनिख ने उसे 'सामाजिक व्यवस्था का सबसे खतरनाक दुश्मन' बताया था।
प्रश्न 14.
यूरोप के कुलीन वर्ग की विशेषताओं का विवेचन कीजिए।
उत्तर:
यूरोप के कुलीन वर्ग की विशेषताएँ-यूरोप के कुलीन वर्ग की निम्नलिखित विशेषताएँ थीं-
प्रश्न 15.
यूरोप के मध्य वर्ग की विशेषताओं का वर्णन कीजिए।
उत्तर:
यूरोप के मध्य वर्ग की विशेषताएँ-यूरोप के मध्य वर्ग की निम्नलिखित विशेषताएँ थीं-
(1) पश्चिमी और मध्य यूरोप के भागों में औद्योगिक उत्पादन तथा व्यापार में वृद्धि से शहरों का विकास और वाणिज्यिक वर्गों का उदय हुआ। इंग्लैण्ड में अठारहवीं शताब्दी में ही औद्योगीकरण हो गया था और वहाँ एक शक्तिशाली संजीव पास बुक्स तथा प्रभावशाली मध्यवर्ग का विकास हो गया था। परन्तु फ्रांस और जर्मनी के राज्यों में उन्नीसवीं शताब्दी में औद्योगीकरण हुआ था। इस औद्योगीकरण के फलस्वरूप मध्यवर्ग का उत्कर्ष हुआ। यह वर्ग उद्योगपतियों तथा व्यापारियों और सेवा क्षेत्र के लोगों से बनाया। यह वर्ग शिक्षित, धन-सम्पन्न तथा उदारवादी था।
(2) कुलीन विशेषाधिकारों की समाप्ति के बाद शिक्षित या उदारवादी मध्य वर्ग के बीच ही राष्ट्रीय एकता के विचार लोकप्रिय हुए।
प्रश्न 16.
इंग्लैण्ड ने आयरलैण्ड पर प्रभुत्व किस प्रकार स्थापित किया?
उत्तर:
आयरलैंड कैथोलिक और प्रोटेस्टेंट धार्मिक गुटों में गहराई में बँटा हुआ था। अंग्रेजों ने आयरलैंड में प्रोटेस्टेंट धर्म मानने वालों को बहुसंख्यक कैथोलिक देश पर प्रभुत्व बढ़ाने में सहायता की। ब्रितानी प्रभाव के विरुद्ध हुए कैथोलिक विद्रोहों को निर्ममता से कुचल दिया गया। वोल्फ टोन और उसकी यूनाइटेड आयरिशमेन (1798) की अगुवाई में हुए असफल विद्रोह के बाद 1801 में आयरलैंड को बलपूर्वक यूनाइटेड किंग्डम में शामिल कर लिया गया। इस प्रकार एक नए 'ब्रितानी राष्ट्र' का निर्माण किया गया जिस पर हावी आंग्ल संस्कृति का आयरलैण्ड में खूब प्रचार-प्रसार किया गया। नए ब्रिटेन के प्रतीक-चिहनों, ब्रितानी झंडा (यूनियन जैक) और राष्ट्रीय गान (गॉड सेव अवर नोबल किंग) को भी खूब बढ़ावा दिया गया।
निबन्धात्मक प्रश्न
प्रश्न 1.
ग्रेट ब्रिटेन के 'आदर्श राष्ट्र-राज्य' (Ideal Nation-State) बनने के कारण स्पष्ट कीजिए।
उत्तर:
ग्रेट ब्रिटेन के 'आदर्श राष्ट्र-राज्य' बनने के प्रमुख कारण निम्न प्रकार हैं-
इस प्रकार एक नये 'ब्रितानी राष्ट्र' का निर्माण हुआ जिसे कुछ विद्वानों ने 'आदर्श राष्ट्र-राज्य' का नाम दिया।
प्रश्न 2.
वियना कांग्रेस द्वारा किये गये प्रमुख निर्णयों का विवेचन कीजिए।
अथवा
वियना सन्धि के मुख्य प्रावधानों की विवेचना कीजिए। इनका क्या उद्देश्य था?
उत्तर:
वियना सम्मेलन- नेपोलियन की पराजय के बाद 1815 में वियना में एक सम्मेलन आयोजित किया गया, जिसमें आस्ट्रिया, प्रशा, इंग्लैण्ड, रूस आदि देशों के प्रतिनिधि सम्मिलित हुए। इस सम्मेलन की मेजबानी आस्ट्रिया के चांसलर ड्यूक मेटरनिख ने की।
वियना सन्धि- वियना सम्मेलन में प्रतिनिधियों ने 1815 की वियना-सन्धि तैयार की। इस सन्धि के प्रमुख प्रावधान निम्नलिखित थे-
वियना-सन्धि की व्यवस्थाओं का उद्देश्य-
प्रश्न 3.
जर्मनी के एकीकरण की प्रक्रिया का संक्षेप में वर्णन कीजिए।
उत्तर:
जर्मनी का एकीकरण- वियना कांग्रेस द्वारा जर्मनी के 39 राज्यों का एक शिथिल जर्मन संघ बनाया गया। एक जर्मन राष्ट्र सभा की स्थापना की गई जिसका अध्यक्ष आस्ट्रिया के सम्राट को बनाया गया। इससे जर्मन लोगों में घोर असन्तोष व्याप्त था। जर्मनी के राष्ट्रवादियों ने 1815 से जर्मनी के एकीकरण के प्रयास शुरू कर दिए जिनका वर्णन निम्नलिखित बिन्दुओं के अन्तर्गत किया जा सकता है-
(1) जॉलवेराइन की स्थापना- 1834 ई. में प्रशा की पहल पर जॉलवेराइन नामक एक शुल्क संघ की स्थापना की गई जिसमें अधिकांश जर्मन राज्य सम्मिलित हो गए। इस संघ ने शुल्क अवरोधों को समाप्त कर दिया तथा मुद्राओं की संख्या केवल दो कर दी जो उससे पहले तीस से ऊपर थी। जॉलवेराइन से जर्मन राज्यों में राष्ट्रीयता की भावना का विकास हुआ। इसने भविष्य में प्रशा के नेतृत्व में जर्मनी के राजनीतिक एकीकरण का मार्ग प्रशस्त कर दिया।
(2) फ्रेंकफर्ट की संसद- सम्पूर्ण जर्मनी के लिए एक नवीन संविधान बनाने के लिए 18 मई, 1848 को फ्रेंकफर्ट संसद के 831 निर्वाचित सदस्यों की एक बैठक हुई। उन्होंने एक जर्मन राष्ट्र के लिए एक संविधान का प्रारूप तैयार किया। इस संघ का अध्यक्ष प्रशा का सम्राट फ्रेडरीख विल्हेम चतुर्थ को बनाया गया। लेकिन प्रशा के सम्राट् फ्रेंडरीख विल्हेम चतुर्थ द्वारा जर्मन राज्यों का राजमुकुट धारण करना स्वीकार न करने के कारण वैधानिक तरीकों से जर्मनी के एकीकरण के प्रयासों पर पानी फिर गया।
(3) बिस्मार्क का योगदान- सन् 1862 में प्रशा के सम्राट विलियम प्रथम तथा उसके प्रधानमंत्री ऑटोवॉन बिस्मार्क ने जर्मनी के एकीकरण के आन्दोलन का नेतृत्व सम्भाल लिया। बिस्मार्क ने प्रशा की सेना तथा नौकरशाही की सहायता ली। उसने लौह और रक्त की नीति अपनाते हुए सात वर्ष की अवधि में 1864 में डेनमार्क को, 1866 में आस्ट्रिया को तथा 1870 में फ्रांस को युद्धों में पराजित कर दिया और जर्मनी के एकीकरण की प्रक्रिया पूरी की। 18 जनवरी, 1871 को बिस्मार्क ने वर्साय के शीश महल में प्रशा के सम्राट विलियम प्रथम को नवीन जर्मन साम्राज्य का सम्राट घोषित किया।
प्रश्न 4.
इटली के एकीकरण का वर्णन कीजिए।
अथवा
इटली के एकीकरण की प्रक्रिया का वर्णन कीजिए।
अथवा
इटली के एकीकरण में मेत्सिनी, कावूर, गैरीबाल्डी तथा विक्टर इमेनुएल द्वितीय के योगदान का विवेचन कीजिए।
उत्तर:
इटली का एकीकरण-इटली के एकीकरण की प्रक्रिया का वर्णन निम्नलिखित बिन्दुओं के अन्तर्गत किया जा सकता है-
(1) इटली के एकीकरण में मेत्सिनी का योगदान- मेत्सिनी इटली का एक महान क्रान्तिकारी नेता था। उसने 1831 में 'यंग इटली' और 1833 में 'यंग यूरोप' नामक क्रान्तिकारी संस्थाओं की स्थापना कर इनके माध्यम से इटलीवासियों में राष्ट्रीयता, देश-भक्ति, त्याग तथा बलिदान की भावनाएँ उत्पन्न की।
(2) इटली के एकीकरण में कावूर का योगदान- कावूर सार्डीनिया-पीडमांट का प्रधानमन्त्री था। उसने इटली के प्रदेशों को एकीकृत करने वाले आन्दोलन का नेतृत्व किया। 1859 में सार्जीनिया-पीडमांट ने फ्रांस की सैनिक सहायता प्राप्त कर आस्ट्रिया की सेनाओं को पराजित किया। इसके फलस्वरूप लोम्बार्डी को सार्जीनिया पीडमांट में मिला लिया था। 1860 में परमा, मोडेना तथा टस्कनी को भी सार्डीनिया-पीडमांट में मिला लिया गया।
(3) इटली के एकीकरण में गैरीबाल्डी का योगदान- गैरीबाल्डी इटली का एक महान स्वतन्त्रता सेनानी था। 1860 में गैरीबाल्डी ने एक हजार रेड शर्ट दल के स्वयंसेवकों को लेकर सिसली और नेपल्स पर आक्रमण किया और शीघ्र ही सिसली और नेपल्स पर गैरीबाल्डी का अधिकार हो गया तथा जनमत संग्रह के आधार पर सिसली तथा नेपल्स को सार्जीनिया पीडमांट में मिला लिया गया। 1861 में विक्टर इमेनुएल द्वितीय को एकीकृत इटली का सम्राट घोषित किया गया।
(4) इटली के एकीकरण में विक्टर इमेनुएल द्वितीय का योगदान- 1866 में आस्ट्रिया तथा प्रशा के बीच युद्ध छिड़ गया। इस अवसर पर इटली ने आस्ट्रिया के विरुद्ध युद्ध में भाग लिया। इस युद्ध में आस्ट्रिया की पराजय हुई और वेनेशिया का प्रदेश इटली को प्राप्त हुआ। 1870 में जब प्रशा और फ्रांस के बीच युद्ध छिड़ गया था तब इटली ने इस स्थिति का लाभ उठाते हुए रोम पर आक्रमण कर दिया और 20 सितम्बर, 1870 को रोम पर अधिकार कर लिया। 1870 में रोम को इटली में मिला लिया गया।
प्रश्न 5.
राष्ट्रवाद की प्रथम स्पष्ट अभिव्यक्ति 1789 की फ्रांसीसी क्रान्ति से प्रारम्भ हुई थी। स्पष्ट करें।
उत्तर:
यूरोप में राष्ट्रवाद की अभिव्यक्ति यूरोप में राष्ट्रवाद की प्रथम स्पष्ट अभिव्यक्ति सन् 1789 में फ्रांसीसी क्रान्ति के साथ हुई। यथा-
(1) इस क्रान्ति में फ्रांसीसी क्रान्तिकारियों ने प्रारम्भ से ऐसे अनेक कदम उठाए जिनसे फ्रांसीसी लोगों में एक सामूहिक पहचान की भावना उत्पन्न हो सकती थी।
(2) फ्रांसीसी क्रान्तिकारियों का प्रमुख लक्ष्य यूरोप के लोगों को निरंकुश शासकों से मुक्त कराना था।
(3) इस क्रान्ति के बाद नेपोलियन ने प्रशासनिक क्षेत्रों में जिन क्रान्तिकारी सिद्धान्तों को सम्मिलित किया वे राष्ट्रवाद की ही अभिव्यक्ति थे। यथा-