Rajasthan Board RBSE Solutions for Class 5 Hindi Chapter 15 पन्ना का त्याग Textbook Exercise Questions and Answers.
उच्चारण के लिए -
मर्दानी, अंत्याक्षरी, अहिल्या बाई, कालग्रस्त, संग्राम सिंह, षड्यंत्र, कर्मचारियों, दुर्भाग्यपूर्ण, महादुष्ट, नवरात्र, निष्कंटक, अट्टहास, क्षत्रियत्व।
नोट - छात्र-छात्रा स्वयं उच्चारण करें।
सोचें और बताएँ -
प्रश्न 1.
पाठ में किन-किन शक्तिशाली महिलाओं के नाम आए हैं?
उत्तर :
पाठ में झाँसी की रानी लक्ष्मीबाई, रानी दर्गावती. बेगम चाँद बीबी, अहिल्याबाई इत्यादि शक्तिशाली महिलाओं के नाम आए हैं।
प्रश्न 2.
चित्तौड़गढ़ में कब अव्यवस्था फैल गई थी?
उत्तर :
चित्तौड़गढ़ में महाराणा संग्राम सिंह की मृत्यु के बाद अव्यवस्था फैल गई थी।
प्रश्न 3.
उदयसिंह को महल में छिपाने से कोई लाभ नहीं था। क्यों?
उत्तर :
उदय सिंह को महल में छिपाने से कोई लाभ नहीं था क्योंकि सभी ओर बनवीर के भेदिये मौजूद थे।
लिखें -
प्रश्न 1.
निम्नलिखित पंक्तियों में दिए खाली स्थानों की पूर्ति करें -
(अ) उदयसिंह को नाच-रंग में नहीं जाने दिया था, इसलिए वह रूठकर .............में ही सो गया था।
(ब) उदयसिंह पर पन्नाधाय ............ छाई हुई थी।
उत्तर :
(अ) रसोईघर
(ब) ढाल बनकर
प्रश्न 2.
सही उत्तर चुनकर क्रमाक्षर कोष्ठक में लिखें -
(अ) उदयसिंह की देखभाल कौन करती थी -
(क) पन्नाधाय
(ग) रानी
(ख) दासी
(घ) महारानी
उत्तर :
(क) पन्नाधाय
(ब) पन्ना धाय का एकमात्र बेटा था -
(क) उदयसिंह
(ख) चंदन।
(ग) विक्रमसिंह
(घ) बनवीर
उत्तर :
(ख) चंदन।
प्रश्न 3.
दासीपुत्र बनवीर क्या चाहता था?
उत्तर :
दासीपुत्र बनवीर चित्तौड़गढ़ की राजगद्दी चाहता था।
प्रश्न 4.
महादुष्ट बनवीर ने क्या चाल सोची थी?
उत्तर :
महादुष्ट बनवीर ने नवरात्र में नाच-रंग का आयोजन कर दोनों राजकुमारों को धोखे से मारने की चाल सोची थी।
प्रश्न 5.
पन्नाधाय ने बनवीर की चाल को कैसे असफल किया?
उत्तर :
पन्नाधाय ने कीरत बारी के माध्यम से उदयसिंह को सुरक्षित बाहर निकालकर बनवीर की चाल को असफल किया।
प्रश्न 6.
कीरत बारी ने क्या काम किया था?
उत्तर :
पत्तलों के ढेर के टोकरे में राजकुमार उदयसिंह को छिपाकर किले से सुरक्षित बाहर ले गया था। इस तरह उसने मेवाड़ पर आए संकट के समय पन्ना की सहायता की।
भाषा की बात -
नीचे लिखे वाक्यों में दिए गए गहरे काले शब्दों को सम्मिलित करते हुए बहुवचन के वाक्य बनाएँ। जैसे -
राधा ने पूरी कविता सुनाई। वाक्य में 'परी' शब्द कविता की विशेषता बता रहा है। आप भी पाठ में आए विशेषण वाले वाक्यों की सूची बनाकर वाक्य में आए विशेषण शब्दों को छाँटकर लिखें।
उत्तर :
वाक्य विशेषण शब्द
1. खूबीलाल स्तब्ध होकर सुन रहा था। - स्तब्ध
2. हमारी बालसभा में बड़ा मजा आया। - बड़ा
3. मैंने खूब जोरदार स्वर में सुना दिया। - खूब
इन चिह्नों को (,।?!) पहचानें।
पाठ में ये चिह्न कहाँ आए हैं, इन्हें देखो और समझो। इन चिह्नों को क्या कहते हैं? चर्चा करो।
उत्तर :
इन चिह्नों के नाम हैं -
(,) अल्प विराम।
(।) पूर्ण विराम।
(?) प्रश्नवाचक चिह्न।
(!) विस्मयबोधक चिह्न।
इन समस्त चिह्नों को विराम-चिहन कहते हैं। पाठ में आए इन चिह्नों को छात्र स्वयं देखें।
यह भी करें -
पन्नाधाय की तरह ही आपके आस-पास किसी महिला ने कर्त्तव्य पालन के लिए त्याग किया हो तो पता कर कक्षा में सुनाएँ।
उत्तर :
मेरे पड़ोस के एक परिवार रहता है। उस परिवार में माता-पिता के अलावा दो पुत्र व दो पुत्रियाँ थीं। एक दुर्घटना में माँ-बाप का निधन हो गया। बड़ी लड़की पर घर की पूरी जिम्मेदारी आ गई। उसने पूरी मेहनत करते हुए अपनी पढ़ाई भी जारी रखी। अपने छोटे-भाई-बहनों की भी परवरिश की। माँ-बाप दोनों के कर्तव्य का निर्वाह करते हुए उसने अपने भाई-बहिनों के विवाह-नौकरी आदि की जिम्मेदारी पूरी की। लेकिन उसने स्वयं अपना विवाह नहीं किया। आज भी वह एक अनाथाश्रम में अपनी सेवाएँ देती
यदि आप पन्नाधाय के स्थान पर होते तो उदयसिंह को कैसे बचाते?
उत्तर :
यदि पन्नाधाय जैसी स्थिति में मैं स्वयं होता, तो कीरत बारी के सहयोग से ही उदयसिंह को बचाता और अपने पुत्र चंदन को हत्यारे के सामने रखने की बजाय विश्वस्त सैनिकों का सहयोग लेकर बनवीर के षड्यंत्र का पर्दाफाश कर देता।
कल्पना करो कि पन्नाधाय ने अपने पुत्र का बलिदान नहीं दिया होता तो क्या होता?
उत्तर :
यदि पन्नाधाय ने अपने पुत्र का बलिदान नहीं किया होता तो बनवीर को उदयसिंह के जीवित होने का पता लग जाता। वह उनका पता लगवाकर मरवा देता।
बहुविकल्पीय प्रश्न -
प्रश्न 1.
सही विकल्प का चयन कीजिए -
(i) निम्न में से कौन-सी नारी धाय थी -
(क) लक्ष्मीबाई
(ख) रानी दुर्गावती
(ग) पन्ना
(घ) चाँदबीबी।
उत्तर :
(ग) पन्ना
(ii) महाराणा संग्रामसिंह के निधन के बाद किसका राजतिलक किया गया?
(क) भोजराज का
(ख) विक्रमसिंह का
(ग) बनवीर का
(घ) उदयसिंह का।
उत्तर :
(ख) विक्रमसिंह का
(iii) नवरात्र पर बनवीर ने सारे चित्तौड़ में किसका आयोजन करवाया?
(क) नाच-रंग का
(ख) खेलकूद का
(ग) गवरी नृत्य का
(घ) भजन-गान का।
उत्तर :
(क) नाच-रंग का
(iv) बनवीर के धोखे में आ गया था -
(क) चंदन
(ख) विक्रमसिंह
(ग) भोजराज
(घ) उदयसिंह।
उत्तर :
(ख) विक्रमसिंह
(v) पन्नाधाय ने कीरत बारी को किस वंश की आन बचाने का काम सौंपा -
(क) राठौड़ वंश
(ख) चौहान वंश
(ग) चंदेल वंश
(घ) सिसोदिया वंश।
उत्तर :
(घ) सिसोदिया वंश।
(vi) पन्ना ने चंदन का बलिदान कर दिया -
(क) राजवंश की रक्षा के लिए
(ख) सत्य और निष्ठा की रक्षा के लिए
(ग) चित्तौड़ के गौरव की रक्षा के लिए
(घ) उपर्युक्त सभी के लिए।
उत्तर :
(घ) उपर्युक्त सभी के लिए।
रिक्तस्थान पूर्ति -
प्रश्न 2.
दिए गए वाक्यों में रिक्त स्थानों की पूर्ति कीजिए -
(i) खूब लड़ी .......... वह तो झाँसी वाली ......... थी।
(ii) .......... के आदमी सब ओर चौकसी पर थे और बाहर निकलना ............ नहीं था।
(iii) कीरत नाम का बारी ........... का भक्त था।
(iv) अबोध चंदन माँ के दुलार की छाया में शीघ्र ही ....... हो गया।
उत्तर :
(i) मर्दानी, रानी
(ii) बनवीर, निरापद
(iii) पन्नाधाय
(iv) निद्रामग्न
सत्य-असत्य -
प्रश्न 3.
नीचे दिए गए वाक्यों के सामने सही होने पर (✓) व तथा गलत होने पर (✗) का निशान लगाएँ
(i) पन्नाधाय एक रानी थी।
(ii) चंदन पन्ना का पुत्र था।
(iii) बनवीर ने भोजराज की हत्या की।
(iv) कीरत बारी ने उदयसिंह को किले से बाहर निकाला।
उत्तर :
(i) ✗ (ii) ✓ (iii) ✗ (iv) ✓
सुमेलित कीजिए -
प्रश्न 4.
सही शब्दों के साथ मेल कीजिए -
(i) दासी पुत्र (क) संग्रामसिंह
(ii) बारी (ख) पन्ना
(iii) धाय (ग) बनवीर
(iv) महाराणा (घ) कीरत
उत्तर :
(1)-(ग) (2)-(घ) (3)-(ख) (4)-(क)
सार्थक शब्द निर्माण -
प्रश्न 5.
सार्थक शब्दों के समूह से शब्द बनते हैं। आप निम्नांकित वर्ग पहेली में से अक्षरों का प्रयोग करते हुए सार्थक शब्द बनाइए -
उत्तर :
(i) दासी
(ii) बारी
(iii) धाय
(iv) सीमा
(v) रीता
(vi) माता।
अति लयूत्तरीय प्रश्न -
प्रश्न 6.
चित्तौड़ की राजगद्दी पर घात लगाए कौन बैठा था?
उत्तर :
चित्तौड़ की राजगद्दी पर बनवीर घात लगाए बैठा था।
प्रश्न 7.
बनवीर ने चित्तौड़ में नाच-रंग का आयोजन कब करवाया था?
उत्तर :
बनवीर ने चित्तौड़ में नाच-रंग का आयोजन नवरात्र के अवसर पर करवाया था।
प्रश्न 8.
उदयसिंह क्यों रूठ गया था?
उत्तर :
पन्ना ने उदयसिंह को नाच-रंग में नहीं जाने दिया था, इसलिए वह रूठ गया था।
प्रश्न 9.
कीरत बारी किसका भक्त था?
उत्तर :
कीरत बारी पन्नाधाय का भक्त था।
प्रश्न 10.
पन्ना ने बनवीर पर किससे वार किया?
उत्तर :
पन्ना ने बनवीर पर कटार से वार किया।
लयु/दीर्य उत्तरीय प्रश्न -
प्रश्न 11.
बनवीर ने नाच-रंग का आयोजन क्यों किया था?
उत्तर :
बनवीर की यह योजना थी कि नाच-रंग में लगी जनता को धोखे में रखकर वह दोनों राजकुमारों की हत्या कर देगा और उसका मार्ग निष्कंटक हो जाएगा।
प्रश्न 12.
चंदन के आने पर पन्ना ने क्या किया?
उत्तर :
चंदन के तमाशा देखकर आने पर उसे उदयसिंह के शयन-कक्ष में ही लाकर खाना खिलाया; प्यार किया और फिर उदयसिंह के पलंग पर बिठाकर कहानियाँ सुनाईं और वहीं सुला दिया।
प्रश्न 13.
दुष्ट बनवीर ने पन्ना से क्या कहा?
उत्तर :
दुष्ट बनवीर ने अट्टहास करते हुए पन्ना से कहा कि आज भवानी उस पर प्रसन्न हैं। इस तलवार की धार से सिसोदिया वंश के दोनों सपूतों का खून अब एक होने वाला है। आज वह उदयसिंह को नहीं बचा सकेगी।
प्रश्न 14.
पन्ना का त्याग महान क्यों माना जाता है?
उत्तर :
पन्ना एक धाय थी। उसने अपने राज्य के लिए, स्वामी के लिए जैसा किया, वैसा बलिदान दुनिया की कोई माँ नहीं कर सकती। अपने पुत्र का बलिदान, महान त्याग की श्रेणी में आता है।
प्रश्न 15.
पन्नाधाय के व्यक्तित्व की विशेषताएँ लिखिए।
अथवा
"पन्नाधाय का चरित्र महान् था।" कैसे?
उत्तर :
पन्ना के चरित्र की निम्न विशेषताएँ थीं -
1. वह रानी या बेगम न होकर एक धाय थी। उसने जो कार्य अपने स्वामी के लिए किया, वह अतुलनीय है।
2. वह कर्तव्यनिष्ठ नारी थी। षड्यंत्र का पता लगने पर उदयसिंह को सुरक्षित किले से बाहर निकाल लिया।
3. वह साहसी नारी थी। उसने बनवीर पर कटार से वार कर मुकाबला किया था।
4. त्याग की मूर्ति थी। अपने पुत्र को हत्यारे के सामने रखकर उसने अपनी छाती पर पत्थर रख लिया था।। इस कारण पन्ना का नाम इतिहास में बड़े आदर के साथ लिया जाता है।
पाठ-परिचय - चित्तौड़गढ़ में महाराणा संग्राम सिंह की मृत्यु के बाद 14-15 वर्ष के विक्रमसिंह का राजतिलक किया गया। 7-8 वर्ष के छोटे पुत्र उदयसिंह की देखभाल पन्नाधाय करती थी। उसको भी उसी उम्र का एक पुत्र था चंदन। दासीपुत्र बनवीर चित्तौड़ की गद्दी हथियाना चाहता था। उसने नवरात्र में नाच-रंग का आयोजन कराया और विशेष रूप से दोनों राजकुमारों को बुलाकर धोखे से हत्या की योजना बनाई थी। विक्रमसिंह धोखे में आ गया, परंतु उदयसिंह के लिए पन्ना ढाल बनी हुई थी। मगर वह उसे लेकर बाहर भी नहीं जा सकती थी क्योंकि चारों ओर बनवीर के भेदिए मौजूद थे।
कीरत नाम का बारी पन्नाधाय का भक्त था। वह महलों से झूठी पत्तलें एकत्र करता था। पन्ना ने उसे काम सौंपा कि वह अपने टोकरे में उदयसिंह को छिपाकर किले से बाहर पहुँचा दे। उधर चंदन तमाशा देखकर लौटा तो माँ ने उसे प्यार करते हुए, अच्छी-अच्छी कहानियाँ सुनाते हुए उदयसिंह के पलंग पर ही सुला दिया। थोड़ी देर बाद हत्यारा बनवीर विक्रमसिंह के खून से रँगी तलवार लेकर उदयसिंह के कक्ष में घुसा। पन्ना ने विरोध किया, परंतु उसने सोए बालक पर तलवार चला दी। पलंग पर से चीख तक नहीं उठी। माँ के दुलार में सोया हुआ चंदन फिर नहीं उठ सका। एक माँ ने अपनी मातृभूमि की रक्षा के लिए बेटे का बलिदान दे दिया।
कठिन शब्दार्थ - मर्दानी-मर्दो जैसा काम करने वाली। दृष्टि-नजर। कालग्रस्त-असमय मृत्यु को प्राप्त। स्वेच्छाअपनी इच्छा। घात लगाना-पैनी नजर से। पथ-भ्रष्टआचरणविहीन। अनभिज्ञ-अनजान। स्तब्ध-चकित। षड्यंत्र-साजिश। दुर्भाग्यपूर्ण-प्रतिकूल, अवांछनीय। निष्कंटक-काँटे रहित, बाधा रहित। चौकसी-निगरानी। निरापद-आसान, सुरक्षित, जिसमें किसी को आपत्ति न हो। भेदिए-भेद या राज़ बताने वाले। बारी-सफाईकर्मी। निष्ठा-समर्पण। निद्रामग्न-नींद में डूबा हुआ। अट्टहासक्रूर हँसी। पातकी-नीच। अबोध-मासूम। खंडहर-टूटा घर। दुलार-प्यारा। शयन कक्ष-सोने का कमरा।
पन्ना का त्याग महत्त्वपूर्ण गद्यांशों पर आधारित प्रश्नोत्तर :
(अ) पन्नाधाय का एक मात्र बेटा-चंदन, तमाशा देखकर लौटा। वह माँ से राजकुमार उदय सिंह के बारे में पूछता रहा (क्योंकि वे दोनों प्राय: साथ-साथ ही खाना खाते थे) पर माँ ने हाँ-हूँ करते हुए उसे उदय सिंह के शयनकक्ष में ही लाकर खाना खिलाया। प्यार किया फिर उदयसिंह के पलंग पर ही उसे बिठाकर किसी गहरी चिंता की छाया में डूबे-डूबे कई अच्छी-अच्छी कहानियाँ सुनाई। माँ की ममता की छाती पर पत्थर रखकर वह सब कुछ कर रही थी, जो दुनिया की कोई माँ कभी नहीं कर सकती। राज्य की रक्षा पर, राजवंश की रक्षा पर, सत्य और निष्ठा की रक्षा पर आज माँ की ममता की कठोर परीक्षा थी।
1. उपर्युक्त गद्यांश का उपयुक्त शीर्षक लिखिए।
2. पन्ना धाय ने चंदन को कहाँ सुलाया ?
3. पन्ना धाय की कठोर परीक्षा क्या थी?
4. 'अच्छी-अच्छी कहानियाँ' में विशेषण शब्दों को
चुनिए?
उत्तर :
1. उचित शीर्षक-पन्नाधाय का त्याग।
2. पन्नाधाय ने चंदन को राजकुमार उदयसिंह के पलंग पर सुलाया।
3. राज्य की रक्षा पर, राजवंश की रक्षा पर, चित्तौड़ के गौरव की रक्षा पर, सत्य और निष्ठा की रक्षा पर पन्नाधाय की ममता की कठोर परीक्षा थी।
4. विशेषण शब्द-अच्छी-अच्छी।
(ब) एक बार माँ की ममता ने सिर उठाया और पन्ना बनवीर के सामने गिड़गिड़ाने लगी-"अरे, नीच ! पातकी !! अबोध बालकों की हत्या करके तू क्या बहादुरी बखानता है ? तू उदयसिंह की हत्या न कर। मैं उसे लेकर कहीं दूर चली जाऊँगी। कुछ तो दया कर !" मगर, बनवीर का अट्टहास सुनकर उसका क्षत्रियत्व जाग उठा और वह कटार लेकर बनवीर पर टूट पड़ी। भाग्य दुष्टों का भी साथ दे देता है, खूबी ! बनवीर की बाँह में ही कटार का वार कर बैठी और क्रोध से फुफकारते हुए उसने पलंग पर सोए बच्चे पर तलवार चला दी। पलंग पर से चीख तक नहीं उठी, माँ के कलेजे को भेदकर जो चीख उठी वह आज भी चित्तौड़ के खण्डहरों में गूंज रही होगी। माँ के मीठे दुलार में सोया हुआ चंदन आज तक भी उस दुलार की छाया में सोया हुआ होगा। खूबी !
1. पन्नाधाय ने क्रूर बनवीर से क्या कहा ?
2. बनवीर के क्रूर अट्टहास को सुनकर पन्ना ने क्या किया?
3. क्रोध में फंफकारते हुए बनवीर ने क्या किया ? लिखिए।
4. “क्रोध में फुफकारना" मुहावरे का अर्थ स्पष्ट कीजिए।
उत्तर :
1. पन्नाधाय ने बनवीर से कहा-अरे नीच पातकी! अबोध बालकों की हत्या करके तू क्या बहादुरी बखानता है। तू उदयसिंह की हत्या न कर, मैं उसे लेकर कहीं दूर चली जाऊँगी।
2. बनवीर का अट्टहास सुनकर उसका क्षत्रियत्व जाग उठा और वह कटार लेकर बनवीर पर टूट पड़ी।
3. क्रोध में फुफकारते हुए बनवीर ने पलंग पर सोए बच्चे पर तलवार का जोरदार प्रहार किया।
4. अर्थ-अत्यधिक क्रोधित होना।