Rajasthan Board RBSE Class 8 Social Science Important Questions Civics Chapter 10 कानून और सामाजिक न्याय Important Questions and Answers.
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बहुचयनात्मक प्रश्न-
प्रश्न 1.
लोगों को शोषण से बचाने के लिए सरकार-
(अ) कारखाने खोलती है
(ब) मुफ्त अनाज बांटती है
(स) कानून बनाती है
(द) सुरक्षा कानूनों को ठीक से लागू नहीं करती है
उत्तर:
(स) कानून बनाती है
प्रश्न 2.
निम्न में से किस कानून में यह निश्चित किया गया है कि किसी का भी मेहनताना एक निर्धारित न्यूनतम राशि से कम नहीं होना चाहिए-
(अ) कार्यस्थल पर बाल मजदूरी रोकने वाले कानून में
(ब) न्यूनतम मेहनताना कानून में
(स) मजदूर यूनियन/संगठन बनाने से संबंधित कानून में
(द) चीजों की गुणवत्ता निर्धारित करने वाले कानून में
उत्तर:
(ब) न्यूनतम मेहनताना कानून में
प्रश्न 3.
सन् 2011 की जनगणना के अनुसार भारत में 5 से 14 साल की उम्र के कितने बच्चे विभिन्न व्यवसायों में नौकरी करते हैं-
(अ) 1.2 लाख
(ब) 12 लाख
(स) 12 हजार
(द) 40 लाख से ज्यादा
उत्तर:
(द) 40 लाख से ज्यादा
प्रश्न 4.
किस मौलिक अधिकार में यह कहा गया है कि 14 साल से कम उम्र के किसी भी बच्चे को किसी कारखाने या खदान या किसी अन्य खतरनाक व्यवसाय में काम पर नहीं रखा जा सकता-
(अ) समानता का अधिकार
(ब) शोषण के विरुद्ध अधिकार
(स) स्वतंत्रता का अधिकार
(द) धार्मिक स्वतंत्रता का अधिकार
उत्तर:
(ब) शोषण के विरुद्ध अधिकार
प्रश्न 5.
न्यूनतम मेहनताना कानून निम्न में से किसके हित में है?
(अ) खेतिहर मजदूरों के
(ब) फैक्ट्री मजदूरों के
(स) घरेलू नौकरों के
(द) उपर्युक्त सभी के
उत्तर:
(द) उपर्युक्त सभी के
प्रश्न 6.
भोपाल स्थित यूनियन कार्बाइड फैक्ट्री के आसपास दूषित इलाकों में स्थित हैंडपंपों को सरकार ने किस रंग से पुतवा दिया है?
(अ) काला
(ब) लाल
(स) पीला
(द) नीला
उत्तर:
(ब) लाल
प्रश्न 7.
यूनियन कार्बाइड का कारखाना स्थित है-
(अ) भोपाल में
(ब) जयपुर में
(स) इन्दौर में
(द) उदयपुर में
उत्तर:
(अ) भोपाल में
प्रश्न 8.
भोपाल गैस त्रासदी कब घटित हुई थी?
(अ) 2 दिसम्बर, 1971 को
(ब) 2 दिसम्बर, 1981 को
(स) 2 दिसम्बर, 1984 को
(द) 2 दिसम्बर 1992 को
उत्तर:
(स) 2 दिसम्बर, 1984 को
प्रश्न 9.
निम्न में से कौनसा मजदूर अधिकार के अन्तर्गत आता है?
(अ) काम का अधिकार
(ब) सही मेहनताना का अधिकार
(स) मानवोचित कार्यस्थितियों का अधिकार
(द) उपर्युक्त सभी
उत्तर:
(द) उपर्युक्त सभी
प्रश्न 10.
ज्यादा मुनाफे के लालच में क्या कार्य किये जाते हैं?
(अ) मजदूरों को कम मेहनताना देना
(ब) बच्चों से काम करवाना
(स) पर्यावरण का ख्याल नहीं रखना
(द) उपर्युक्त सभी।
उत्तर:
(द) उपर्युक्त सभी।
रिक्त स्थानों की पूर्ति कीजिये-
1. बाजार में हर जगह लोगों के ............ की संभावना बनी रहती है।
2. ............ के अनुसार किसी का भी मेहनताना एक निर्धारित न्यूनतम राशि से कम नहीं होना चाहिए।
3. सरकार की जिम्मेदारी है कि .............. को सही ढंग से लागू किया जाये।
4. 1984 में .............. की रक्षा के लिए हमारे पास बहुत कम कानून थे।
5. कामगारों के अधिकारों की रक्षा के लिए सख्त बनाये जाने चाहिए।
उत्तर:
1. शोषण
2. न्यूनतम मेहनताना कानून
3. सुरक्षा कानूनों
4. पर्यावरण
5. कानून
सही या गलत बताइए-
1. निजी कम्पनियाँ, ठेकेदार, कारोबारी लोग आमतौर पर कम से कम मुनाफा कमाने की कोशिश करते हैं।
2. बिजली से चलने वाले करघों के साथ बढ़ती प्रतिस्पर्धा के कारण 1980 और 1990 के दशकों में ज्यादातर कपड़ा मिल बन्द हो गई थीं।
3. विदेशी कम्पनियों के भारत आने का एक कारण यहाँ का सस्ता श्रम है।
4. विकासशील देश अपने विषैले और खतरनाक उद्योगों को विकसित देशों में ले जा रहे हैं।
5. न्यायालयों ने स्वस्थ पर्यावरण के अधिकार को मौलिक अधिकार के रूप में जीवन का अभिन्न अंग माना है।
उत्तर:
1. गलत
2. सही
3. सही
4. गलत
5. सही
सही मिलान कीजिए-
(अ) |
(ब) |
न्यूनतम मेहनताना कानून |
विद्युत उपकरण सुरक्षा मानक |
कार्यस्थल सुरक्षा कानून |
एक निर्धारित न्यूनतम वेतन से कम नहीं |
बालश्रम अधिनियम |
आपातकालीन द्वार |
गुणवत्ता मानक कानून |
14 वर्ष से कम आयु के बच्चों के सभी व्यवसायों में नियोजन पर प्रतिबन्ध |
उत्तर:
(अ) |
(ब) |
न्यूनतम मेहनताना कानून |
एक निर्धारित न्यूनतम वेतन से कम नहीं |
कार्यस्थल सुरक्षा कानून |
आपातकालीन द्वार |
बालश्रम अधिनियम |
14 वर्ष से कम आयु के बच्चों के सभी व्यवसायों में नियोजन पर प्रतिबन्ध |
गुणवत्ता मानक कानून |
विद्युत उपकरण सुरक्षा मानक |
अतिलघूत्तरात्मक प्रश्न-
प्रश्न 1.
बाजार में लोगों को शोषण से बचाने के लिए सरकार क्या करती है?
उत्तर:
सरकार कानून बनाकर बाजार में जारी अनुचित तौरतरीकों पर अंकुश लगाती है।
प्रश्न 2.
मजदूरों को वाजिब मेहनताना मिले, इस बात को सुनिश्चित करने के लिए सरकार ने कौनसा कानून बनाया है?
उत्तर:
न्यूनतम वेतन कानून।
प्रश्न 3.
चीजों की गुणवत्ता निर्धारित मानकों के अनुरूप होनी चाहिए, यह बताने वाले कानून की जरूरत क्यों पड़ी?
उत्तर:
क्योंकि विद्युत उपकरणों, भोजन, दवाई आदि की खराब गुणवत्ता के कारण उपभोक्ताओं का जीवन खतरे में पड़ सकता है।
प्रश्न 4.
शोषण से मुक्ति के अधिकार का क्या अर्थ है?
उत्तर:
शोषण से मुक्ति के अधिकार का अर्थ है कि किसी को भी कम मेहनताना पर काम करने या बंधुआ मजदूर के तौर पर काम करने के लिए मजबूर नहीं किया जा सकता।
प्रश्न 5.
किस अधिनियम में संशोधन करके यह प्रावधान किया गया है कि 14 साल तक के बच्चों को नौकरी पर रखना एक गंभीर अपराध है?
उत्तर:
बाल मजदूरी रोकथाम अधिनियम में।
प्रश्न 6.
सुरक्षा कानूनों को सही ढंग से लागू करने की जिम्मेदारी किसकी है?
उत्तर:
सुरक्षा कानूनों को सही ढंग से लागू करने की जिम्मेदारी सरकार की है।
प्रश्न 7.
यूनियन कार्बाइड संयंत्र में सुरक्षा मानकों के खुलेआम उल्लंघन का कोई एक कारण बताइये।
उत्तर:
भारत में सुरक्षा मानक ढीले थे तथा उन्हें भी ठीक से लागू नहीं किया जा रहा था।
प्रश्न 8.
यूनियन कार्बाइड को प्रदूषण से निपटने के लिए क्यों कुछ भी खर्च नहीं करना पडा?
उत्तर:
भारत में पर्यावरण को एक मुफ्त चीज माना जाता था। इसलिए यूनियन कार्बाइड को प्रदूषण से निपटने के लिए पैसा खर्च नहीं करना पड़ा।
प्रश्न 9.
सर्वोच्च न्यायालय ने सुभाष कुमार बनाम बिहार राज्य (1991) के मुकदमे में क्या निर्णय दिया?
उत्तर:
इस मुकदमे में सर्वोच्च न्यायालय ने यह निर्णय दिया कि अनुच्छेद 21 के तहत जीवन के मौलिक अधिकार में प्रदूषण मुक्त हवा और पानी का अधिकार भी शामिल
प्रश्न 10.
भारत में पर्यावरणीय मुद्दों पर ताजा अनुसंधानों से क्या बात सामने आई. है?
उत्तर:
ताजा शोधों से यह बात सामने आई है कि मध्य वर्ग के लोग पर्यावरण की चिंता तो करने लगे हैं. लेकिन वे अक्सर गरीबों की पीड़ा को ध्यान में नहीं रखते।
लघूत्तरात्मक प्रश्न-
प्रश्न 1.
न्यूनतम मेहनताना कानून क्या है और इसकी जरूरत क्यों है और यह कानून किसके हित में है?
उत्तर:
न्यूनतम मेहनताना कानून-न्यूनतम मेहनताना कानून में यह निश्चित किया गया है कि किसी का भी मेहनताना एक निर्धारित न्यूनतम राशि से कम नहीं होना चाहिए। इस कानून की इसलिए आवश्यकता पड़ी क्योंकि बहुत सारे मजदूरों को उनके मालिक सही मेहनताना नहीं देते। चूंकि मजदूरों को काम की जरूरत होती है, इसलिए वे सौदेबाजी नहीं कर पाते और बहुत कम मजदूरी पर ही काम करने को तैयार हो जाते हैं। यह कानून सारे मजदूरों तथा घरेलू नौकरों के हितों की रक्षा के लिए बनाया गया है।
प्रश्न 2.
मजदूर यूनियन/संगठन बनाने से संबंधित कानून बनाने की जरूरत क्यों है?
उत्तर:
मजदूर यूनियन/संगठन बनाने से संबंधित कानून बनाने की जरूरत इसलिए है कि यूनियनों में संगठित होकर मजदूर अपनी संयुक्त ताकत के सहारे सही वेतन और बेहतर कार्यस्थिति के लिए आवाज उठा सकते हैं।
प्रश्न 3.
यूनियन कार्बाइड के भोपाल और अमेरिकी संयंत्रों में सुरक्षा व्यवस्था के अन्तर को स्पष्ट कीजिये।
उत्तर:
प्रश्न 4.
अलग-अलग देशों, जैसे-अमेरिका और भारत के बीच सुरक्षा मानकों में भारी अन्तर क्यों है? भारत में दुर्घटना के बाद पीड़ितों को मामूली मुआवजा क्यों दिया जा रहा है?
उत्तर:
भारतीय मजदूर का मोल अभी भी ज्यादा नहीं माना जाता। हमारे यहाँ बेरोजगारी इतनी अधिक है कि थोड़े से वेतन के बदले में न जाने कितने लोग असुरक्षित स्थितियों में भी. काम करने को तैयार हो जाते हैं। मजदूरों की इस कमजोरी का लाभ उठाकर मालिक कार्यस्थल पर सुरक्षा की जिम्मेदारी से बच जाते हैं।
प्रश्न 5.
बाल श्रम (प्रतिषेध एवं विनियमन) अधिनियम, 1986 में वर्ष 2016 में क्या संशोधन किया गया?
उत्तर:
वर्ष 2016 में संसद ने बाल श्रम (प्रतिषेध एवं विनियमन) अधिनियम, 1986 में यह संशोधन किया है कि 14 वर्ष से कम आयु के बच्चों के सभी प्रकार के व्यवसायों में तथा किशोरों (14-18 वर्ष) के जोखिमवादी व्यवसायों तथा प्रक्रियाओं में नियोजन करने पर प्रतिबंध है। बच्चों या किशोरों के नियोजन को अब एक संज्ञेय अपराध बना दिया गया है।
प्रश्न 6.
हाल के वर्षों में न्यायालयों के पर्यावरण से जुड़े मुद्दों पर जुड़े आदेशों से लोगों की रोजी-रोटी पर भी बुरा असर पड़ा है। किसी एक उदाहरण से इसे स्पष्ट कीजिये।
उत्तर:
अदालत ने यह आदेश दिया कि दिल्ली के रिहायशी इलाकों में काम करने वाले उद्योगों को बंद कर दिया जाये या उन्हें शहर से बाहर दूसरे इलाकों में भेज दिया जाये। इनमें से कई कारखाने आसपास के वातावरण को प्रदूषित कर रहे थे। इन कारखानों की गंदगी से यमुना नदी भी प्रदूषित हो रही थी क्योंकि इन कारखानों को नियमों के हिसाब से नहीं चलाया जा रहा था। अदालत के आदेशों से दिल्ली में प्रदूषण की समस्या तो हल हो गई, लेकिन इन कारखानों के बंद हो जाने से बहुत सारे मजदूरों के रोजगार खत्म हो गये।
प्रश्न 7.
प्रदूषण फैलाने वाले कारखानों को एक स्थान से दूसरे स्थान पर ले जाने से क्या प्रदूषण की समस्या खत्म हो गई है? यदि नहीं, तो इस समस्या का समाधान बताइये।
उत्तर:
प्रदूषण फैलाने वाले कारखानों को एक स्थान से हटाकर दूर-दराज के इलाकों में ले जाकर चलाने से पहले स्थान के प्रदूषण की समस्या तो खत्म हो गई, लेकिन अब प्रदूषण की समस्या इन नये इलाकों में पैदा हो रही है। ये इलाके प्रदूषित होने लगे हैं। दूसरे, कारखानों को बंद कराने या दूर-दराज के दूसरे स्थानों में स्थानान्तरित कर देने से मजदूरों के रोजगार और उनकी सुरक्षा की स्थितियाँ अभी भी बनी हुई हैं। इस चुनौती का हल यही है कि हम कारखानों में ज्यादा स्वच्छ तकनीकों और प्रक्रियाओं को अपनाने तथा कड़े सुरक्षा मानकों को अपनाने पर बल दें। इसके लिए सरकार को कारखाने मालिकों को प्रोत्साहित करना चाहिए तथा उनकी आवश्यक सहायता भी करनी चाहिए। साथ ही प्रदूषण फैलाने वालों पर जुर्माना भी करना चाहिए।
निबन्धात्मक प्रश्न-
प्रश्न 1.
भोपाल यूनियन कार्बाइड संयंत्र में सुरक्षा मानकों की खुलेआम अवहेलना होने के कारणों को स्पष्ट कीजिये।
उत्तर:
यूनियन कार्बाइड में खुलेआम सुरक्षा मानकों की अवहेलना के कारण-यूनियन कार्बाइड संयंत्र में सुरक्षा मानकों की खुलेआम अवहेलना के प्रमुख कारण निम्नलिखित थे-
(1) ढीले सुरक्षा मानक-भारत में उस समय सुरक्षा कानून ढीले थे। ढीले सुरक्षा मानकों से कम्पनी को फायदा मिला।
(2) सरकार द्वारा ठीक ढंग से कानूनों का क्रियान्वयन नहीं-ढीले सुरक्षा कानूनों को भी सरकार द्वारा ठीक ढंग से लागू नहीं किया जा रहा था। यथा-(i) सरकारी अफसर इस कारखाने को खतरनाक कारखानों की श्रेणी में रखने को तैयार नहीं थे।
(ii) इस कारखाने को घनी आबादी वाले इलाके में खोलने पर सरकार ने कोई ऐतराज नहीं किया। जब भोपाल के कुछ नगर निगम अधिकारियों ने इस बात पर उँगली उठाई कि 1978 में मिक उत्पादक कारखाने की स्थापना सुरक्षा मानकों के खिलाफ थी तो सरकार का कहना था कि प्रदेश को भोपाल के संयंत्र में लगातार निवेश चाहिए ताकि रोजगार मिलते रहें।
(iii) सरकार की राय में यूनियन कार्बाइड से इस बात की मांग करना असंभव था कि वह साफ-सुथरी तकनीक या ज्यादा सुरक्षा प्रक्रियाओं को अपनाए।
(iv) सरकारी निरीक्षक कारखाने में अपनाई जा रही दोषपूर्ण प्रक्रियाओं को बार-बार मंजूरी देते रहे। जब कारखाने में बार-बार गैस का रिसाव होने लगा और सबको यह बात समझ में आ चुकी थी कि कहीं कुछ भारी गड़बड़ी चल रही है, तब भी निरीक्षकों के कान पर जूं तक नहीं रेंगी।
(3) कंपनी द्वारा सुरक्षा उपायों की अनदेखी-कम्पनी ने भी लागत में कमी लाने के लिए सुरक्षा उपायों की अनदेखी की। यूनियन कार्बाइड के कारखाने में एक भी सुरक्षा उपकरण या तो सही ढंग से काम नहीं कर रहा था या उनकी संख्या कम थी। मजदूरों के लिए सुरक्षा प्रशिक्षण की अवधि भी 6 महीने से घटाकर 15 दिन कर दी गई थी। मिक कारखाने के लिए रात की पाली के मजदूर का पद ही खत्म कर दिया गया था।
इससे स्पष्ट होता है कि कानून बनाने और उसे लागू करने वाली संस्था सरकार ने सुरक्षा मानकों को नजरअंदाज किया। लोगों के हितों की रक्षा करने के स्थान पर सरकार और कंपनी, दोनों ही उनकी सुरक्षा को नजरअंदाज करती गईं।