Rajasthan Board RBSE Solutions for Class 6 Hindi Vasant Chapter 1 वह चिड़िया जो Textbook Exercise Questions and Answers.
कविता से
प्रश्न 1.
कविता पढ़कर तुम्हारे मन में चिड़िया का जो चित्र उभरता है, उस चित्र को कागज पर बनाओ।
उत्तर:
कविता को पढ़कर हमारे मन में यह चित्र उभरता
(1) चिड़िया का आकार छोटा है।
(2) वह नीले पंखों वाली सुंदर चिड़िया है। .
(3) वह मधुर स्वर में गाती
(4) वह नदी का पानी पीती है।
(5) वह साहस एवं स्वतन्त्रता से जीती है।
प्रश्न 2.
तुम्हें कविता का कोई और शीर्षक देना हो तो क्या शीर्षक देना चाहोगे? उपयुक्त शीर्षक सोचकर लिखो।
उत्तर:
कविता का अन्य उपयुक्त शीर्षक-'छोटी चिड़िया',
'सुन्दर चिड़िया' या 'सयानी रानी चिड़िया' हो सकता
प्रश्न 3.
इस कविता के आधार पर बताओ कि चिड़िया को किन-किन चीजों से प्यार है?
उत्तर:
चिड़िया को दूध भरे ज्वार के कच्चे दानों से, जंगल से, बहती नदी से और स्वतन्त्र विचरण करने से भी प्यार है।
प्रश्न 4.
आशय स्पष्ट करो
(क) रस उंडेलकर गा लेती है
(ख) चढ़ी नदी का दिल टटोलकर जल का मोती ले जाती है
उत्तर:
(क) चिड़िया जंगल में स्वतंत्र रूप से रहती है. उसे किसी तरह का बन्धन नहीं है। वह स्वतंत्र होने से मधुर स्वर में गाती है और अपने मीठे स्वर से वातावरण को आनन्द से भर देती है।
(ख) चिड़िया स्वतंत्र होने से वन, उपवन, पर्वत, नदी आदि जगहों पर कहीं भी जा सकती है। वह पानी के वेग से लबालब भरी नदी की अथाह जलराशि का अनुमान लगाती है और उससे जल-कण रूपी मोती लेकर अपनी प्यास बुझाती है। उसके लिए जल मोती के समान अमूल्य
अनुमान और कल्पना
प्रश्न 1.
कवि ने नीली चिड़िया का नाम नहीं बताया है। वह कौन-सी चिड़िया रही होगी? इस प्रश्न का उत्तर जानने के लिए पक्षी-विज्ञानी सालिम अली की पुस्तक 'भारतीय पक्षी' देखो। इनमें ऐसे पक्षी भी शामिल हैं जो जाड़े में एशिया के उत्तरी भाग और अन्य ठंडे देशों से भारत आते हैं। उनकी पुस्तक को देखकर तुम अनुमान लगा सकते हो कि इस कविता में वर्णित नीली चिड़िया शायद इनमें से कोई एक रही होगी
नीलकण्ठ
छोटा किलकिला
कबूतर
बड़ा पतरिंगा
उत्तर :
इस कविता में वर्णित नीली चिड़िया शायद नीलकण्ठ रही होगी, क्योंकि उसके शरीर का अधिकांश भाग नीले रंग का, आकार छोटा और आवाज मधुर होती है।
प्रश्न 2.
नीचे कुछ पक्षियों के नाम दिए गए हैं। उनमें यदि कोई पक्षी एक से अधिक रंग का है तो लिखो कि उसके किस हिस्से का रंग कैसा है ? जैसे तोते की चोंच लाल है, शरीर हरा है
मैना, कौआ, बतख, कबूतर।
उत्तर:
प्रश्न 3.
कविता का हर बंध 'वह चिड़िया जो'- से शुरू होता है और मुझे बहुत प्यार है' पर खत्म होता है। तुम भी इन पंक्तियों का प्रयोग करते हुए अपनी कल्पना से कविता में कुछ नए बंध जोड़ो।
उत्तर-
वह चिड़िया जो
पँख फैलाकर
आसमान की दूरी नापकर
ऊँची उड़ान भर लेती है.
नीले पंखों वाली मैं हूँ
मुझे आकाश से बहुत प्यार है।
वह चिड़िया जोचोंच खोलकर
पेट की आग बुझाने खातिर
दाने-दाने चुग लेती है
नीले पँखों वाली मैं हूँ
मुझे अन्न से बहुत प्यार है।
प्रश्न 4.
तुम भी ऐसी कल्पना कर सकते हो कि "वह फूल का पौधा जो-पीली पंखुड़ियों वाला-महक रहा है-मैं हूँ।" उसकी विशेषताएँ मुझ में हैं ..... । फूल के बदले वह कोई दूसरी चीज भी हो सकती है, जिसकी विशेषताओं को गिनाते हुए तुम उसी चीज से अपनी समानता बता सकते हो .... ऐसी कल्पना के आधार पर कुछ पंक्तियाँ लिखो।
उत्तर-
वह सूरज जो
रोज सुबह उगकर
अपनी पीली - सफेद किरणों से
धरती पर उजाला फैलाता है
चमकता हुआ गोला जैसा
दमक रहा है - मैं हूँ
मुझे रोशनी से बहुत प्यार है।
भाषा की बात:
प्रश्न 1.
पंखोंवाली चिड़िया -- ऊपरवाली दराज
नीले पंखोंवाली चिड़िया -- सबसे ऊपरवाली दराज
यहाँ रेखांकित शब्द विशेषण का काम कर रहे हैं। ये शब्द चिड़िया और दराज संज्ञाओं की विशेषता बता रहे हैं, अतः रेखांकित शब्द विशेषण हैं और चिड़िया, दराज विशेष्य हैं। यहाँ 'वाला/वाली' जोड़कर बनने वाले कुछ और विशेषण दिए गए हैं। ऊपर दिए गए उदाहरणों की तरह इनके आगे एक-एक विशेषण और जोड़ो।
उत्तर -
सुंदर मोरोंवाला बाग -- मोरोंवाला बाग
ठिगने पेड़ोंवाला घर -- पेड़ोंवाला घर
पीले फूलोंवाली क्यारी -- फूलोंवाली क्यारी
लम्बा स्कूलवाला रास्ता -- स्कूलवाला रास्ता
अधिक हँसनेवाला बच्चा -- हँसनेवाला बच्चा
लम्बी मूंछोंवाला आदमी -- मूंछोंवाला आदमी
प्रश्न 2.
वह चिड़िया ..... जुंडी के दाने रुचि से ..... खा लेती है।
वह चिड़िया ..........रस उँडेलकर गा लेती है।
कविता की इन पंक्तियों में रेखांकित वाले शब्दों को ध्यान से पढ़ो। पहले वाक्य में 'रुचि से' खाने के ढंग की, और दूसरे वाक्य में 'रस उँडेलकर' गाने के ढंग की विशेषता बता रहे हैं। अतः ये दोनों क्रिया-विशेषण हैं। नीचे दिए वाक्यों में कार्य के ढंग या रीति से सम्बन्धित
क्रिया-विशेषण छाँटो
(क) सोनाली जल्दी-जल्दी मुँह में लडड ट्रंसने लगी।
(ख) गेंद लुढ़कती हुई झाड़ियों में चली गई।
(ग) भूकम्प के बाद जनजीवन धीरे-धीरे सामान्य होने लगा।
(घ) कोई सफेद-सी चीज़ धप्प-से आँगन में गिरी।
(ङ) टॉमी फुर्ती से चोर पर झपटा।
(च) तेजिंदर सहमकर कोने में बैठ गया।
(छ) आज अचानक ठंड बढ़ गई है।
उत्तर-क्रिया-विशेषण-
(क) जल्दी-जल्दी
(ख) लुढ़कती हुई
(ग) धीरे-धीरे
(घ) धप्प-से
(ङ) फुर्ती से
(च) सहमकर
(छ) अचानक।
प्रश्न 1.
'रस से खा लेती है'-चिड़िया क्या खा लेती है?
(अ) गेहूँ के दाने
(ब) जुंडी के दाने
(स) चावल के दाने
(द) अनार के दाने
उत्तर:
(ब) जुंडी के दाने
प्रश्न 2.
छोटी चिड़िया का स्वभाव कैसा है ?
(अ) लालची
(ब) बड़बोली
(स) सन्तोषी
(द) आलसी
उत्तर:
(स) सन्तोषी
प्रश्न 3.
चिड़िया किसके खातिर गाती है ?
(अ) लोगों के
(ब) स्वयं के
(स) पक्षियों के
(द) वन-बाबा के
उत्तर:
(द) वन-बाबा के
प्रश्न 4.
छोटी-सी चिड़िया को प्यार है
(अ) जीवों से
(ब) नदी से
(स) बाग से
(द) जंगल से
उत्तर-
(ब) नदी से
रिक्त-स्थानों की पूर्ति --
प्रश्न 5.
रिक्त स्थानों की पूर्ति उचित शब्द से कीजिए
(i) मुझे ............. से बहुत प्यार है। (अन्न/जल)
(ii) चढ़ी नदी का .............. टटोलकर। (सीना/दिल)
(iii) ............. पंखों वाली मैं हूँ। (पीले/नीले)
(iv) रस उँडेलकर .................. लेती हूँ। (खा/गा)
उत्तर-
रिक्त स्थानों के लिए शब्द-
(i) अन्न,
(ii) दिल,
(iii) नीले,
(iv) गा।
अतिलघूत्तरात्मक प्रश्न --
प्रश्न 6.
छोटी चिड़िया चोंच मारकर क्या खा लेती है ?
उत्तर-
छोटी चिड़िया चोंच मारकर दूध-भरे कच्चे मुंडी के दाने खा लेती है।
प्रश्न 7.
छोटी चिड़िया किसके खातिर गा लेती है?
उत्तर-
वह 'वन-बाबा' (बूढ़े जंगल) के खातिर गा लेती
प्रश्न 8.
छोटी चिड़िया के पंखों का रंग कैसा है ?
उत्तर-
छोटी चिड़िया के पंखों का रंग नीला है।
प्रश्न 9.
छोटी चिड़िया को क्या प्रिय है?
उत्तर-
छोटी चिड़िया को मधुर स्वर में गीत गाना और स्वतन्त्र रहना प्रिय है।
प्रश्न 10.
छोटी चिड़िया को किसका पानी प्रिय है?
उत्तर-
छोटी चिड़िया को लबालब भरी नदी का पानी प्रिय
लघूत्तरात्मक प्रश्नप्रश्न --
प्रश्न 11.
चिड़िया को क्या पसंद है ? वह क्या खाती है ?
उत्तर-
चिड़िया को अपनी चोंच से ज्वार के दूध से भरे कच्चे दाने खाना पसंद है, वह उन दानों को रुचि से खाती
प्रश्न 12.
'वह चिड़िया जो' कविता में चिड़िया की. क्या विशेषता बतायी गई है?
उत्तर-
कविता में बताया गया है कि चिड़िया सन्तोषी स्वभाव की है और वह मुंहबोली एवं गर्वीली भी है। वह परिश्रमी तथा मधुरभाषी है।
प्रश्न 13.
'चढ़ी नदी का दिल टटोलकर'-पंक्ति का आशय क्या है?
उत्तर-
छोटी चिड़िया जिस नदी का जल उसके किनारों तक उफनता रहता है, उसके जल-प्रवाह का अनुमान कर पानी लेती है एवं पीती है।
[सप्रसंग व्याख्या/भावार्थ]
सिप्रसंग व्याख्या/भावार्थ : कठिन-शब्दार्थ-जुंडी = ज्वार। रुचि = पसन्द, इच्छा। रस = आनन्द, स्वाद । सन्तोषी = सन्तोष रखने वाली। कण्ठ = गला। खातिर = के लिए, हेतु। विजन = एकान्त, जंगल । चढ़ी नदी = पानी से लबालब भरी नदी। टटोलकर = खोजकर। गरबीली = गर्व करने वाली।
1. वह चिड़िया जो ............. प्यार है।
प्रसंग - प्रस्तुत काव्यांश हमारी पाठ्य-पुस्तक वसंत भाग-1 की 'वह चिड़िया जो' नामक कविता से लिया गया है। इसके रचयिता श्री केदारनाथ अग्रवाल हैं। इसमें नीले पंखों वाली चिड़िया के स्वभाव आदि के बारे में बताया गया है।
व्याख्या/भावार्थ - कवि वर्णन करता है कि जिसके पंख नीले हैं, वह चिड़िया अपनी चोंच से जुडी के दूध भरे कच्चे दानों को रुचि से खाती है। उसे वे दूध भरे कच्चे दानों को खाने में बहुत आनन्द आता है। वह चिड़िया छोटी और सन्तोष करने वाली है। वह कहती है कि मुझे अन्न के दाने बहुत प्रिय हैं।
2. वह चिडिया जो ...........................बहुत प्यार है।
प्रसंग - प्रस्तुत काव्यांश 'वह चिड़िया जो' नामक कविता-पाठ से लिया गया है। इसमें कवि ने चिड़िया द्वारा मधुर स्वर में गाने तथा खुले आकाश में उड़ने का वर्णन किया है।
व्याख्या/भावार्थ - कवि वर्णन करता है कि वह चिड़िया जो बूढ़े वन-बाबा को खुश करने के लिए मुक्त कंठ से मधुर बोली में गाती है। वह छोटी-सी चिड़िया जंगल-बाबा की मुँह बोली बेटी के समान है, उसके नीले पंख अत्यधिक सुन्दर हैं । वह कहती है कि मुझे जंगल से बहुत प्यार है, अर्थात् उसे वन में स्वतंत्र रहना अच्छा लगता है।
3. वह चिड़िया जो ....................... प्यार है।
प्रसंग - प्रस्तुत काव्यांश 'वह चिड़िया जो' नामक कविता से लिया गया है। इसमें कवि ने उसके गर्वयुक्त स्वभाव तथा स्वतंत्र विचरण का वर्णन किया है।
व्याख्या/भावार्थ - कवि कहता है कि वह चिड़िया अपनी चोंच से उस नदी का पानी लाती है जिसमें ऊपर किनारों तक पानी लबालब भरा रहता है। वह नदी के वेग का अनुमान लगाकर उससे जल-कण रूपी मोती ले आती है और अपनी प्यास बुझाती है। वह छोटी तथा गर्व करने वाली चिड़िया है। वह चिड़िया कहती है कि मैं सुन्दर नीले पंखों वाली हूँ और मुझे नदी से बहुत प्यार है, अर्थात् मैं बहती नदी का पानी स्वतन्त्रतापूर्वक पीना चाहती हूँ।